Mangal Gochar In Kark: वैदिक ज्योतिष शास्त्र में प्रत्येक ग्रह का अपना महत्व है। 9 ग्रहों के राजा सूर्य और सेनापति मंगल ग्रह को माना गया है। मंगल ग्रह को आत्मविश्वास, ऊर्जा, साहस, पराक्रम, भाई और भूमि आदि का कारक ग्रह माना गया है। माना जाता है कि जब भी मंगल देव अपनी राशि या नक्षत्र परिवर्तन करते हैं, तो हर एक राशि के जीवन पर किसी न किसी तरह का प्रभाव अवश्य पड़ता है।
ज्योतिषियों के अनुसार, नव ग्रहों में सबसे ज्यादा शक्तिशाली मंगल ग्रह को माना गया है। बता दें कि इस समय मंगल देव मिथुन राशि में विराजमान हैं, लेकिन दिवाली से 10 दिन पहले यानी 20 अक्टूबर को अपनी राशि परिवर्तन करेंगे।
दृक पंचांग के अनुसार, मंगल देव 20 अक्टूबर को दोपहर 2 बजकर 46 मिनट पर कर्क राशि में प्रवेश करेंगे। कर्क राशि में प्रवेश करने से कुछ राशि के जातकों को अत्यंत लाभ होगा। साथ ही, उनके जीवन में कई सारे बदलाव भी देखने को मिलेंगे। तो आज इस खबर में जानेंगे कि दिवाली से पहले किन-किन राशियों की किस्मत अचानक से बदलने वाली है। आइए विस्तार से जानते हैं।
मेष राशि
मेष राशि वाले जातकों के लिए मंगल का राशि परिवर्तन वरदान जैसा हो सकता है, क्योंकि इस दौरान मेष राशि वाले जातकों को अचानक धन का लाभ हो सकता है। कारोबार में जमकर वृद्धि हो सकती है। रुके हुए कार्य पूर्ण होंगे। कोर्ट-कचहरी जैसे मामलों से छुटकारा मिल सकता है। जो लोग शादीशुदा हैं, उनके जीवन में खुशियां बनी रहेंगी। जीवन खुशहाल रहेगा।
वृषभ राशि
वैदिक ज्योतिष शास्त्र के अनुसार, वृषभ राशि वाले जातकों की कुंडली के मंगल सातवें और बारहवें भाव के स्वामी है। जब मंगल कर्क राशि में प्रवेश करेंगे तो वृषभ राशि के तीसरे भाव में विराजमान रहेंगे। ऐसे में जातक को सभी क्षेत्र में सफलता मिल सकता है। साथ ही साथ धन का लाभ भी होगा। बनाई गई योजनाएं पूरी होंगी। करियर में खूब तरक्की देखने को मिलेगा।
कर्क राशि
मंगल ग्रह के कर्क राशि में प्रवेश करने से इस राशि के जातकों को लाभ ही लाभ मिलेगा, क्योंकि कर्क राशि में मंगल देव लग्न भाव में विराजमान रहेंगे। ऐसे में जातक को खूब सारा धन का लाभ मिलेगा। करियर और कारोबार में लाभ देखने को मिलेगा। उधार दिया हुआ पैसा वापस मिल सकता है। आर्थिक तंगी से मुक्ति मिल जाएगी।
यह भी पढ़ें- दिवाली की तिथि को लेकर देशभर में भ्रम... 31 अक्टूबर या 1 नवंबर, दूर करें कन्फ्यूजन
डिस्क्लेमर: यह जानकारी सामान्य मान्यताओं पर आधारित है। Hari Bhoomi इसकी पुष्टि नहीं करता है।