Share Market Scam: लोकसभा चुनाव नतीजों के बाद कांग्रेस ने देश में बड़े शेयर मार्केट स्कैम का दावा किया। गुरुवार को प्रेस कॉन्फ्रेंस में कांग्रेस सांसद राहुल गांधी ने आरोप लगाया कि चुनावों के दौरान प्रधानमंत्री ने किस आधार पर लोगों को शेयरों में इन्वेस्ट करने के लिए कहा? उन्होंने और बीजेपी के बड़े नेताओं ने रिटेल इन्वेस्टर से क्यों ऐसा कहा? उन्होंने 4 जून से पहले शेयरों में पैसा लगाने के लिए कहा था। लेकिन नतीजों के दिन शेयर बाजार बुरी तरह गिरा और 30 लाख करोड़ का नुकसान हो गया।

BJP नेताओं को पता था- 3 और 4 जून को क्या होगा?
राहुल गांधी ने दावा किया है कि बीजेपी के आंतरिक सर्वे के बाद उनके नेताओं को पता था कि 3 और 4 जून को क्या होने वाला है। उन्होंने फेक एग्जिट कराए और मीडिया के जरिए इसे देश को दिखाया। ताकि 3 जून को बाजार ऊपर जाए। बीजेपी सरकार की मजबूत वापसी के भरोसे खुदरा निवेशकों ने बाजार में अपनी मेहनत की कमाई लगाई। लेकिन बीजेपी नेताओं ने देश के आम निवेशकों का नुकसान कराया। हम प्रधानमंत्री के खिलाफ जांच और कार्रवाई चाहते हैं। देश को 30 लाख करोड़ का नुकसान हुआ है।

कुछ लोगों ने मिलकर आम लोगों का पैसा लगवाया
कांग्रेस सांसद राहुल गांधी ने कहा- नरेंद्र मोदी ने चुनाव प्रचार में दो बार 22 और 28 मई को शेयर बाजार के बहुत ऊपर भागने का दावा किया था। बीजेपी के इंटरनल पोल में उनकी सीटें 200 और 220 के अंदर बताई गई थीं। 1 जून को आए एग्जिट पोल के बाद 3 जून को शेयर बाजार ने उड़ान भरी। लेकिन 4 जून को जब रिजल्ट आने लगे तो शेयर बाजार की हालत आप सभी ने देखी थी। कुछ लोगों ने मिलकर हजारों करोड़ रुपए शेयर मार्केट में इंवेस्ट कराए। नतीजे और बाजार गिरने से पहले उन्होंने अपना पैसा निकाल लिया। आम निवेशक फंसा रह गया।

राहुल गांधी की 4 मांग क्या हैं?
1. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और गृहमंत्री अमित शाह ने किस आधार देश के 5 करोड़ निवेशकों को एडवाइजरी दी?
2. नरेंद्र मोदी ने दोनों इंटरव्यू, जो दिए वो अडाणी समूह के मीडिया हाउस के चैनलों को दिए, सेबी इसकी जांच कर रहा है। 
3. हम जानना चाहते हैं कि बीजेपी और विदेशी निवेशकों के बीच क्या रिश्ता है?
4. यह शेयर बाजार का बहुत बड़ा स्कैम है। जिसकी जांच के लिए जेसीपी बनाई जानी चाहिए, जो इसकी जांच करें।

सवाल- इस दौरान जिन कंपनियों के शेयर में फायदा हुआ, क्या उनकी जांच होनी चाहिए?
राहुल गांधी ने कहा- देश के प्रधानमंत्री और गृह मंत्री ने शेयर खरीदने के लिए कहा है तो रिटेल इन्वेस्टर्स को भरोसा तो होगा। यह अडाणी इश्यू से कहीं ज्यादा बड़ा मुद्दा है। यह अडाणी इश्यू से जुड़ा है, जिसकी जानकारी सीधे तौर पर प्रधानमंत्री और केंद्रीय गृह मंत्री को थी। असल चुनाव परिणामों से जुड़ा डेटा, जिनके पास आईबी रिपोर्ट है, जिनके पास अपना डेटा है, वो निवेशकों को स्टॉक खरीदने की सलाह क्यों दे रहे थे, पहले कभी ऐसा नहीं हुआ। प्रधानमंत्री ने बार-बार कहा कि शेयर बाजार में तेजी आने वाली है। उन्हें पता है कि एग्जिट पोल गलत हैं। यह शेयर मार्केट घोटाला है।