NPS Diwas: भारत में पेंशन योजना के तहत अभी सिर्फ 5% आबादी ही आती है, जिसमें राष्ट्रीय पेंशन योजना (NPS) और अटल पेंशन योजना (APY) शामिल हैं। मुख्य आर्थिक सलाहकार वी. अनंत नागेश्वरन ने बुधवार (2 अक्टूबर) को इस पर चिंता जताते हुए युवाओं को शुरुआती जिंदगी से ही पेंशन के लिए बचत करने की सलाह दी है।
पेंशन सिस्टम को टिकाऊ होना चाहिए: नागेश्वरन
1 अक्टूबर को पेंशन फंड नियामक एवं विकास प्राधिकरण (PFRDA) द्वारा आयोजित NPS दिवस सम्मेलन में बोलते हुए नागेश्वरन ने कहा कि पेंशन प्रणाली को टिकाऊ और विस्तार योग्य होना चाहिए, जिसमें एसेट-लायबिलिटी फ्रेमवर्क का संतुलन जरूरी है।
PFRDA के अध्यक्ष दीपक मोहंती ने भी कार्यक्रम के दौरान भारत की पेंशन प्रणाली में हो रहे बदलावों पर प्रकाश डाला। उन्होंने कहा कि पेंशन प्रणाली को अधिक समावेशी, लचीला और तकनीकी रूप से सक्षम बनाना आवश्यक है, ताकि यह सभी नागरिकों की जरूरतों को पूरा कर सके, खासकर गिग अर्थव्यवस्था और श्रम बाजार की गतिशीलता के संदर्भ में।
तात्कालिक संतुष्टि की सोच बदलनी पड़ेगी
नीति आयोग के सदस्य वी.के. पॉल ने कहा कि युवाओं में तात्कालिक संतुष्टि की मानसिकता को बदलने की जरूरत है। उन्होंने बताया कि वृद्ध महिलाओं की संख्या अधिक है और 54% विधवा महिलाएं हैं। पॉल ने पेंशन योजनाओं के प्रति जागरूकता फैलाने और विशेष रूप से ग्रामीण क्षेत्रों में पहुंच बनाने की जरूरत पर जोर दिया। उन्होंने कहा कि इस प्रयास में बैंकों की अहम भूमिका हो सकती है और नीति निर्माताओं को पेंशन नीति बनाते समय स्वास्थ्य, सामाजिक-आर्थिक कल्याण और डिजिटल समावेशन जैसे पहलुओं पर ध्यान देना चाहिए।