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Stock Market Updates: गुरुवार दोपहर 1:45 बजे तक बीएसई सेंसेक्स 1200 अंक (1.50%) की गिरावट के साथ 78,975 पर आ गया। जबकि निफ्टी 350 अंक लुढ़ककर 23,910 पर ट्रेड करता नजर आया।

Stock Market Updates: भारतीय शेयर बाजार में गुरुवार (28 नवंबर) को शुरुआती तेजी के बाद शार्प सेल देखने को मिली। दोपहर 12 बजे के बाद आईटी और ऑटो शेयरों में जबरदस्त बिकवाली रही। ग्लोबल इकोनॉमिक रुझानों से चिंता बढ़ने के कारण गिरावट नजर आई। सेंसेक्स और निफ्टी दोनों करीब 1.5 फीसदी तक लुढ़के। दोपहर 1:45 बजे सेंसेक्स (BSE Sensex) 1200 अंक (1.50%) की गिरावट के साथ 78,975 पर आ गया। जबकि निफ्टी (NSE Nifty) 350 अंक लुढ़ककर 23,910 पर ट्रेड करता नजर आया। बीएसई के 1850 शेयरों में तेजी, 1500 शेयरों गिरावट और 80 शेयरों की कीमतों में कोई बदलाव नहीं हुआ।

1) आईटी और ऑटो शेयर कमजोर
आईटी सेक्टर 2.3% और ऑटो सेक्टर 1.3% की गिरावट के साथ निफ्टी पर सबसे बड़ा दबाव (सेलिंग प्रेशर) बना। आईटी शेयरों में इंफोसिस 3%, टीसीएस 2.2%, टेक महिंद्रा 2.5%, और एचसीएल टेक 2% गिरे। ऑटो शेयरों में महिंद्रा एंड महिंद्रा (-3.2%) और आयशर मोटर्स (-2%) प्रमुख नुकसान में रहे। IT Stocks में गिरावट की वजह अमेरिकी मुद्रास्फीति (इन्फ्लेशन) डेटा है, जिसने इंटरेस्ट रेट में कटौती की धीमी रफ्तार का संकेत दिया है। इससे भारतीय आईटी कंपनियों पर अमेरिका में ग्राहक खर्च घटने की चिंता बढ़ी है।

2) वैश्विक दरों को लेकर बढ़ी चिंताएं
जेएम फाइनेंशियल सर्विसेज के कृष्णा राव के मुताबिक, "अमेरिका में बढ़ती विकास दर और उच्च मुद्रास्फीति के चलते ब्याज दरों में कटौती की धीमी गति से बाजार में अस्थिरता जारी रह सकती है।" मजबूत अमेरिकी डॉलर ने उभरते बाजारों की संपत्तियों जैसे- भारत की अपील को भी कमजोर किया है। एशियाई बाजार भी डॉलर की मजबूती और ट्रेड टेंशन के कारण दबाव में रहे।

3) टेक्नीकल एनालिसिस में Nifty
SBICAP सिक्योरिटीज के सुदीप शाह के मुताबिक, निफ्टी 24320 से 24350 के रेडिस्टेंस लेवल को पार करने में संघर्ष कर रहा है, जो इसके 100-दिवसीय EMA के साथ मेल खाता है। 24350 के ऊपर स्थायी तेजी आने पर 24550 तक उछाल मिलने का अनुमान है। लेकिन 24160 से 24130 का सपोर्ट भी अहम है। अगर निफ्टी 24130 के स्तर को तोड़ता है, तो यह 23,980 तक गिर सकता है।

4) संस्थागत निवेशकों की सतर्कता
जियोजित फाइनेंशियल सर्विसेज के वी के विजयकुमार ने कहा कि वैश्विक अनिश्चितताओं के बीच बड़े संस्थान सतर्क बने हुए हैं। मजबूत डॉलर और उभरते बाजारों में मैक्रो हेडविंड्स को देखते हुए एफआईआई आक्रामक खरीदार नहीं बनेंगे। उन्होंने आगे कहा कि अमेरिकी राष्ट्रपति-निर्वाचित डोनाल्ड ट्रंप की नीतियों और उनके दुनियाभर के कारोबार पर प्रभाव को लेकर स्पष्टता की प्रतीक्षा की जा रही है।

5) मार्केट आउटलुक
भारतीय बाजार के मौजूदा करेक्शन से से निफ्टी का प्राइस टू अर्निंग  रेश्यो (PE) अक्टूबर के 25.8 के टॉप से घटकर 21x के स्तर पर आ गया है। एक्सपर्ट्स ने कहा कि निवेशकों को अपने पोर्टफोलियो में कैश लेवल बढ़ाना चाहिए और मौजूदा लेवल से बाजार को ठहराव की जरूरत है। एफआईआई की बिक्री में कमी से राहत मिली है, लेकिन ग्लोबल सिग्नल और पॉलिसी चेंज को देखते हुए अगले कुछ दिनों तक अस्थिरता बनी रह सकती है।

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