UPPCS-Pre and RO-ARO Exam Date: उत्तर प्रदेश लोक सेवा आयोग (UPPSC) ने UPPCS-PRE और RO-ARO परीक्षाओं की तिथि घोषित कर दी है, जिसका इंतजार लाखों अभ्यर्थी कर रहे थे। आयोग के अनुसार, UPPCS-PRE परीक्षा का आयोजन 7 और 8 दिसंबर 2023 को किया जाएगा, जबकि RO/ARO प्री परीक्षा 22 और 23 दिसंबर को होगी।
UPPCS-Pre परीक्षा नोटिस
आयोग ने आधिकारिक नोटिस में लिखा कि राज्य/प्रवर अधीनस्थ सेवा (प्रा०) परीक्षा-2024, शासनादेश दिनांक 19.06.2024 में विहित प्राविधानानुसार प्रदेश के समस्त जनपदों के केन्द्र निर्धारण संबंधी समितियों द्वारा प्रेषित परीक्षा केन्द्रों की संख्या एवं क्षमता, अभ्यर्थियों की संख्या के सापेक्ष हर संभव प्रयास के बावजूद यथोचित मानक के अनुसार उपलब्ध न होने के दृष्टिगत प्रश्नगत परीक्षा दिनांक-07 व 08 दिसम्बर, 2024 को दो सत्रों (प्रथम सत्र-पूर्वाह्न 9:30 से 11:30 बजे एवं द्वितीय सत्र अपराह्न 2:30 से 4:30 बजे तक) में प्रदेश के 41 जनपदों में आयोजित की जायेगी।
RO-ARO परीक्षा नोटिस
यूपीपीएससी ने आधिकारिक विज्ञप्ति में लिखा कि समीक्षा अधिकारी/सहायक समीक्षा अधिकारी आदि (प्रा०) परीक्षा-2023, शासनादेश दिनांक 19.06.2024 के प्रस्तर 7.9 में विहित प्राविधान-एक पाली में यथासंभव अधिकतम 05 लाख अभ्यर्थी ही हों। इससे अधिक परीक्षार्थी होने पर कई पालियों में परीक्षा कराई जाए, के आलोक में अभ्यर्थियों की संख्या 10,76,004 होने के दृष्टिगत प्रश्नगत परीक्षा दिनांक 22 दिसम्बर, 2024 को प्रथम पाली पूर्वाह्न 09:00 से 12:00 बजे एवं द्वितीय पाली अपराह्न 02:30 से 05:30 बजे तक तथा दिनांक 23 दिसम्बर, 2024 को तृतीय पाली पूर्वाह्न 09:00 से 12:00 बजे तक प्रदेश के विभिन्न जनपदों में आयोजित की जायेगी।
पिछले साल 51 केंद्रों पर हुई थी पीसीएस प्रारंभिक परीक्षा
आरओ/एआरओ परीक्षा में 10.70 लाख अभ्यर्थी पंजीकृत हैं, जबकि पीसीएस प्रारंभिक परीक्षा में 5.76 लाख अभ्यर्थियों ने आवेदन किया है। पिछले साल आरओ/एआरओ 58 और पीसीएस प्रारंभिक परीक्षा 51 केंद्रों पर हुई थी।
लाखों उम्मीदवारों को मिली राहत, तैयारी में जुटें
परीक्षा तिथियों के ऐलान के बाद अब उम्मीदवार अपनी तैयारियों में तेजी ला सकते हैं। आयोग ने उम्मीदवारों से अपील की है कि वे परीक्षा के सटीक समय और स्थान की जानकारी के लिए वेबसाइट पर समय-समय पर नजर बनाए रखें। इससे पहले, इन परीक्षाओं को लेकर कई बार तारीखों के ऐलान की अफवाहें फैली थीं, जिससे अभ्यर्थियों में असमंजस की स्थिति बनी हुई थी।