Devenedra Fadnavis: महाराष्ट्र के डिप्टी सीएम देवेंद्र फडणवीस ने एक मराठी चैनल के कार्यक्रम में स्पष्ट किया कि बीजेपी अकेले राज्य के चुनाव नहीं जीत सकती। उन्होंने कहा कि यह सच्चाई है कि बीजेपी के पास सबसे अधिक सीटें और वोट प्रतिशत हैं। फडणवीस ने विश्वास जताया कि बीजेपी, शिवसेना, एनसीपी और रिपब्लिकन पार्टी ऑफ इंडिया के सहयोग से सरकार बनाएगी। उन्होंने यह भी कहा कि लोकसभा चुनावों में पहली बार राज्य में 'वोट जिहाद' देखने को मिला, लेकिन इसका असर विधानसभा चुनाव में नहीं होगा

महायुति में कोई असमंजस नहीं
जब फडणवीस से पूछा गया कि क्या वह मुख्यमंत्री पद के दावेदार हैं, तो फडणवीस ने कहा कि अगर लोग उन्हें सीएम के रूप में देख रहे हैं, तो यह समस्या नहीं बल्कि समाधान है। लेकिन इसका मतलब यह नहीं कि वह मुख्यमंत्री बनने जा रहे हैं। महायुति में सीएम का चेहरा घोषित करने की जरूरत नहीं है क्योंकि एकनाथ शिंदे वर्तमान में मुख्यमंत्री हैं। मुख्यमंत्री पद का फैसला चुनाव के बाद होगा। उन्होंने कहा कि महायुति में कोई असमंजस नहीं है, बल्कि समस्या महाविकास अघाड़ी (MVA) में है।

लोकसभा चुनाव में बीजेपी को हुआ था नुकसान
महाराष्ट्र के लोकसभा चुनाव में बीजेपी को नुकसान झेलना पड़ा था। 48 सीटों में से इंडिया गठबंधन ने 30 सीटें जीतीं, जबकि एनडीए ने 17 सीटें हासिल कीं। यदि यही रुझान विधानसभा चुनावों में रहता है, तो बीजेपी को नुकसान हो सकता है और वह लगभग 60 सीटों पर सिमट सकती है। दूसरी ओर, विपक्षी गठबंधन ने 160 सीटों पर जीत का अनुमान लगाया है। बीजेपी के सामने मराठा आंदोलन एक बड़ी चुनौती है, साथ ही शिवसेना और एनसीपी में टूट के बाद उद्धव ठाकरे और शरद पवार के प्रति सहानुभूति भी है।

2019 के विधानसभा चुनाव के बाद बदली स्थिति
2019 के विधानसभा चुनाव में बीजेपी-शिवसेना गठबंधन ने 105 और 56 सीटें जीती थीं। परंतु, आपसी मतभेदों के कारण यह गठबंधन टूट गया। इसके बाद महाविकास अघाड़ी ने सत्ता संभाली, लेकिन बाद में शिवसेना और एनसीपी भी दो गुटों में बंट गईं। अब आगामी चुनावों में ये बदलाव भी अहम भूमिका निभा सकते हैं। फडणवीस का मानना है कि बीजेपी इस बार फिर से महायुति के साथ सत्ता में वापसी करेगी।