अभिजीत गंगोपाध्याय को तगड़ा झटका: चुनाव आयोग ने 24 घंटे के लिए प्रचार पर लगाई रोक, ममता बनर्जी से पूछी थी कीमत

भाजपा नेता अभिजीत गंगोपाध्याय पश्चिम बंगाल के तामलुक सीट से उम्मीदवार हैं। उन्होंने संदेशखाली प्रकरण को लेकर ममता बनर्जी के खिलाफ आपत्तिजनक बयान दिया था। इस पर चुनाव आयोग ने एक्शन लिया है।

Updated On 2024-05-21 16:05:00 IST
अभिजीत गंगोपाध्याय Vs ममता बनर्जी।

Abhijit Gangopadhyay: कलकत्ता हाईकोर्ट के जज से भाजपा नेता बने अभिजीत गंगोपाध्याय को पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी के खिलाफ विवादित बयान देना भारी पड़ा है। चुनाव आयोग ने अभिजीत गंगोपाध्याय के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की है। उन्हें चुनाव प्रचार करने से रोक दिया है। चुनाव आयोग ने बताया कि तामलुक सीट से भाजपा उम्मीदवार अभिजीत गंगोपाध्याय 21 मई की शाम 5 बजे से अगले 24 घंटे के लिए चुनाव प्रचार नहीं कर पाएंगे। 

आयोग ने अभिजीत गंगोपाध्याय को आदर्श आचार संहिता के दौरान अपने सार्वजनिक बयानों में सावधानी बरतने की भी सख्त चेतावनी दी है।

गंगोपाध्याय ने कही थी ये बात
अभिजीत गंगोपाध्याय ने 16 मई मिदनापुर के चैतन्यपुर में एक चुनावी रैली को संबोधित किया। उन्होंने कहा कि तृणमूल कांग्रेस का आरोप है कि संदेशखाली की उम्मीदवार को 2 हजार रुपए में खरीदा गया था। ममता बनर्जी जी, आपकी कीमत क्या है? 10 लाख रुपए? क्या इसलिए क्योंकि आप एक मशहूर ब्यूटिशियन से अपना मेकअप कराती हैं? क्या रेखा पात्रा को 2 हजार रुपए में खरीदा जा सकता है, क्योंकि वह लोगों में घरों में काम करती हैं। एक महिला दूसरी महिला को इतना अपमानित कैसे कर सकती है?

तृणमूल कांग्रेस ने गंगोपाध्याय के इस बयान पर आपत्ति जताते हुए चुनाव आयोग को चिट्ठी लिखी थी। चुनाव आयोग ने अभिजीत गंगोपाध्याय को नोटिस दिया था और 20 मई की शाम तक का समय दिया गया था। गंगोपाध्याय ने नोटिस का जवाब दिया, लेकिन चुनाव आयोग संतुष्ट नहीं हुआ। चुनाव आयोग ने कहा कि गंगोपाध्याय की टिप्पणी हर मायने में अपमानजनक और गरिमा से परे है। 

तामलुक सीट पर 25 मई को वोटिंग
अभिजीत गंगोपाध्याय ने कलकत्ता हाईकोर्ट के जज पद से इस्तीफा देकर भाजपा का दामन थामा था। 7 मार्च को वो बीजेपी में शामिल हुए थे। बाद में उन्हें पार्टी ने बंगाल की तामलुक सीट से अपना उम्मीदवार बनाया। इस सीट पर 25 मई को छठे फेज में वोटिंग होनी है। 

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