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HD Devegowda on Bharat Ratna: केंद्र सरकार ने पूर्व प्रधानमंत्री और किसान नेता चौधरी चरण सिंह, पीवी नरसिम्हा राव और हरित क्रांति के जनक एसएस स्वामीनाथन को सर्वोच्च नागरिक सम्मान देने का ऐलान किया है। 

HD Devegowda on Bharat Ratna: पूर्व प्रधानमंत्री और जनता दल (सेक्यूलर) के वरिष्ठ नेता एचडी देवेगौड़ा ने शनिवार को राज्यसभा में भारत रत्न पुस्कार की घोषणा के लिए मोदी सरकार की तारीफ की। उन्होंने भारत रत्न के लिए चुनी गई हस्तियों पर सवाल नहीं उठाने की अपील की। देवेगौड़ा ने कहा कि इस मुद्दे पर केंद्र के फैसले को लेकर कोई मतभेद नहीं होना चाहिए। इससे पहले राज्यसभा में कांग्रेस ने राष्ट्रीय लोकदल के नेता जयंत सिंह को बोलने से रोका, इसे लेकर सदन में हंगामे की स्थिति बन गई। बता दें कि जयंत के दादा चौधरी चरण सिंह का नाम भारत रत्न के लिए चुना गया है। जिसके बाद उन्होंने मोदी सरकार की खुलकर तारीफ की थी।  

'भारत रत्न के फैसले पर सवाल उठाना गलत'
बजट सत्र के आखिरी दिन उन्होंने कहा कि इसकी कोई जरूरत नहीं है, महान नेताओं को भारत रत्न देने के लिए हमारे प्रधानमंत्री के इतने बड़े फैसले पर दोबारा मतभेत का प्रयास नहीं किया जाना चाहिए। बता दें कि केंद्र सरकार ने शुक्रवार को पूर्व प्रधानमंत्री और किसान नेता चौधरी चरण सिंह, पीवी नरसिम्हा राव और हरित क्रांति के जनक एसएस स्वामीनाथन को सर्वोच्च नागरिक सम्मान देने का ऐलान किया था।

'आज श्रीराम के नाम पर देश एकजुट हुआ है'
रामलला की प्राण-प्रतिष्ठा पर चर्चा के दौरान जेडीएस नेता देवेगौड़ा ने कहा कि भगवान राम और देवताओं के आशीर्वाद से देश एकजुट हो रहा है और देश की नींव मजबूत हुई है। मैं पत्नी के साथ अयोध्या मंदिर के शुभारंभ समारोह में शामिल हुआ था। मेरे जैसे करोड़ों देशवासियों के लिए यह एक अत्यंत खुशी और श्रद्धा का मौका था। अयोध्या और राम हमारे दिल में हैं और हमारे पूर्वजों के द्वारा छोड़ी गई उनकी एक छवि हमारे मन में बसी है। श्रीराम सुशासन, प्रेम और दयालुता के प्रतीक हैं। वे एक ऐसा व्यक्तित्व थे, जिन्होंने धर्म के साथ राजधर्म का भी पालन किया।

11 दिन के कठोर व्रत के लिए मोदी की तारीफ की
पूर्व प्रधानमंत्री ने कहा कि महात्मा गांधी ने श्रीराम के गुणों और आदर्शों को देश के सामने रखा। अयोध्या भगवान राम की पूजा के लिए देश और दुनिया में पहचान बना चुका है। मैं प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के प्रण और भक्ति भाव की प्रशंसा करता हूं, जिन्होंने प्राण प्रतिष्ठा के लिए 11 दिन तक कठोर व्रत का पालन किया।

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