Kangana Ranaut Statement: बीजेपी सांसद और अभिनेत्री कंगना रनौत ने किसानों के विरोध प्रदर्शन की तुलना बांग्लादेश की हालिया हिंसा और उत्पाद से की है, जिसके बाद पंजाब के बीजेपी नेता हरजीत ग्रेवाल ने उनके बयान की निंदा की। दूसरी ओर, कांग्रेस समेत पूरा विपक्ष उनके इस बयान पर हमलावर है। कांग्रेस नेता सुप्रिया श्रीनेत ने सोमवार को कहा कि बीजेपी की सांसद किसानों को हत्यारा और दुष्कर्मी बता रही हैं, भाजपा को यह स्पष्ट करना चाहिए कि क्या यह उनका (पार्टी) आधिकारिक बयान है। बता दें कि हरियाणा में 1 अक्टूबर को विधानसभा चुनाव के लिए वोटिंग होनी है और कंगना के बयान से बीजेपी की मुश्किलें बढ़ सकती हैं।
बीजेपी ने किया कंगना के बयान से किनारा
बीजेपी ने कंगना के इस बयान से किनारा कर लिया है। बीजेपी की ओर से सोमवार को एक बयान जारी कर बताया गया कि कंगना का बयान पार्टी का ऑफिशियल स्टैंड नहीं है। कंगना पार्टी की किसी भी नीति पर बयान देने के लिए अधिकृत नहीं है। उन्होंने किसान आंदोलन को लेकर जो भी राय रखी है पार्टी लाइन के मुताबिक नहीं है। कंगना को पार्टी ने भविष्य में ऐसे बयान नहीं देने के लिए आगाह किया है। पार्टी सबका साथ और सबका विकास की नीति पर चलती है।
किसान आंदोलन में शव लटके थे, दुष्कर्म हो रहे थे: कंगना
- कंगना रनौत ने आरोप लगाया कि किसानों के विरोध प्रदर्शन के दौरान विदेशी ताकतों ने इसे और भड़काने का काम किया। उन्होंने कहा कि अगर मोदी सरकार ने सख्त कदम नहीं उठाए होते, तो भारत में भी बांग्लादेश जैसे हालात बन सकते थे।
- एक वीडियो में कंगना ने दावा किया कि किसानों के विरोध के दौरान "शव लटके हुए थे और रेप की घटनाएं हो रही थीं।" उन्होंने विदेशी ताकतों और कुछ फिल्मी हस्तियों पर आरोप लगाया कि वे देश के हितों की परवाह किए बिना इस तरह की घटनाओं को बढ़ावा दे रहे हैं।
पंजाब के बीजेपी नेता ने कंगना के बयान पर जताई नाराजगी
कंगना रनौत के इस बयान पर पंजाब बीजेपी के वरिष्ठ नेता हरजीत ग्रेवाल ने नाराजगी जताई और उन्हें ऐसे संवेदनशील मुद्दों पर टिप्पणी करने से बचने की सलाह दी। ग्रेवाल ने कहा, "किसानों के मुद्दे पर बोलना कंगना का काम नहीं है। यह उनका निजी बयान है, जबकि पीएम मोदी और बीजेपी किसान-हितैषी हैं। विपक्षी दल हमारे खिलाफ काम कर रहे हैं और कंगना का बयान भी उसी दिशा में जा रहा है।"
हरियाणा चुनाव पर पड़ सकता है कंगना के बयान का असर
कंगना के इस बयान के चलते बीजेपी के लिए एक मुश्किल स्थिति पैदा हो गई है, खासकर जब हरियाणा में विधानसभा चुनाव नजदीक हैं। इस बयान से किसानों में बीजेपी के खिलाफ नाराजगी बढ़ सकती है, जिससे चुनावी नतीजों पर असर पड़ सकता है। क्योंकि किसान आंदोलन में ज्यादातर हरियाणा और पंजाब के किसान शामिल हुए थे।
किसान आंदोलन को लेकर पहले भी कंगना ने दिए हैं बयान
यह पहली बार नहीं है जब कंगना को किसानों के मुद्दे पर आलोचना का सामना करना पड़ा है। 2020 में भी उन्होंने एक महिला किसान को गलत तरीके से पहचान कर उनके खिलाफ अपमानजनक टिप्पणी की थी। सांसद बनने के बाद भी कंगना का एयरपोर्ट पर एक महिला सीआईएसएफ कर्मी के साथ विवाद हुआ था, जिसने उनके किसान-विरोधी बयान पर नाराजगी के चलते थप्पड़ जड़ दिया था।