Mamata Banerjee Accuses NIA of Bias: पश्चिम बंगाल के पूर्वी मिदनापुर जिले में शनिवार, 6 अप्रैल की सुबह राष्ट्रीय जांच एजेंसी (NIA) पर हुए हमले को लेकर सियासत शुरू हो गई है। मुख्यमंत्री और तृणमूल कांग्रेस अध्यक्ष ममता बनर्जी ने आरोप लगाया कि एनआईए भाजपा के लिए काम कर रही है।
एनआईए ने आधी रात को छापा क्यों मारा?
ममता बनर्जी ने सवाल उठाते हुए पूछा कि एनआईए ने आधी रात को छापा क्यों मारा? क्या उनके पास पुलिस परमीशन थी? आधी रात कोई अजनबी आएगा तो लोग क्या प्रतिक्रिया देंगे। स्थानीय लोगों ने उसी तरह प्रतिक्रिया की है। एनआईए चुनाव से ठीक पहले लोगों को क्यों गिरफ्तार कर रही है? भाजपा क्या सोचती है वह हर बूथ एजेंट को गिरफ्तार करवा लेंगे? एनआईए को क्या अधिकार है? एनआईए भाजपा का समर्थन करने के लिए ये सब कर रही है। हम पूरी दुनिया से इस भाजपा की गंदी राजनीति के खिलाफ लड़ने का आह्वान करते हैं।
दो साजिशकर्ताओं को किया गिरफ्तार
दरअसल, आतंकवाद रोधी एजेंसी एनआईए ने शनिवार सुबह करीब साढ़े 5 बजे पूर्वी मिदनापुर जिले में 2022 भूपतिनगर बम विस्फोट मामले में दो प्रमुख साजिशकर्ताओं को गिरफ्तार किया। हालांकि भूपतिनगर गई टीम पर छापेमारी के दौरान हमला किया गया। जिसमें एनआईए का एक अधिकारी घायल हो गया।
गिरफ्तार व्यक्तियों में बलई चरण मैती और मनोब्रत जाना शामिल हैं। एनआईए ने पांच अलग-अलग स्थानों पर व्यापक तलाशी के बाद इन्हें हिरासत में लिया। भूपतिनगर में जैसे ही टीम ने अपना तलाशी अभियान शुरू किया, अचानक उनका सामना एक उग्र भीड़ से हो गया। भीड़ ने एनआईए अधिकारियों पर हमला कर दिया। जिसमें एक वाहन की विंडस्क्रीन भी टूट गई।
भीड़ एनआईए टीम को रोकना चाहती थी और गिरफ्तार लोगों को रिहा कराना चाहती थी। जवाब में एनआईए ने घटना के संबंध में स्थानीय पुलिस स्टेशन में शिकायत दर्ज कराई है। एनआईए के मुताबिक, मनोब्रत जाना और बलई चरण मैती कथित तौर पर बम बनाने और विस्फोट करने की साजिश में शामिल थे।
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विस्फोट में गई थी तीन लोगों की जान
दिसंबर 2022 में पूर्वी मेदिनीपुर जिले के नरूआबिल्ला गांव में राजकुमार मन्ना के घर में विस्फोट हुआ था। विस्फोट में बिस्वजीत गायेन और बुद्धदेब मन्ना सहित राजकुमार मन्ना की मौत हो गई थी। शुरुआत में पश्चिम बंगाल पुलिस ने 3 दिसंबर 2022 को एफआईआर दर्ज की थी। हालांकि, शुरुआत में विस्फोटक पदार्थ अधिनियम लागू नहीं किया गया था। इसके बाद कलकत्ता उच्च न्यायालय में एक रिट याचिका दायर की गई, जिसमें अधिनियम की संबंधित धाराओं को शामिल करने और मामले को एनआईए को स्थानांतरित करने का आग्रह किया गया।