Mani Shankar Aiyar New Controversy: अक्सर अपने विवादित बयानों से कांग्रेस को असहज करने वाले वरिष्ठ नेता मणिशंकर अय्यर ने सियासी विवाद खड़ा कर दिया है। हालांकि इस बार अय्यर ने कोई बयान नहीं दिया, बल्कि 'माफी' मांगी है। लेकिन मणिशंकर अय्यर एक ऐसे नेता हैं, जो विवादों में आ ही जाते हैं। ताजा मामला चीनी अतिक्रमण से जुड़ा है। कांग्रेस नेता अय्यर ने मंगलवार (28 मई) को 1962 में चीनी आक्रमण के लिए 'कथित' शब्द का इस्तेमाल करने के लिए 'बिना शर्त' माफी मांगी।
कांग्रेस ने अय्यर के बयान से खुद को किया अलग
मणिशंकर अय्यर विदेशी संवाददाता क्लब में आयोजित एक कार्यक्रम बोल रहे थे। उन्होंने एक किस्सा सुनाते हुए कहा- अक्टूबर 1962 में चीनियों ने कथित तौर पर भारत पर आक्रमण किया था। कार्यक्रम खत्म होने पर अय्यर को अपनी गलती का एहसास हुआ। उन्होंने कहा कि 'चीनी आक्रमण' से पहले 'कथित' शब्द का इस्तेमाल करने के लिए बिना शर्त माफ़ी मांगता हूं। अय्यर ने 'नेहरू फर्स्ट रिक्रूट्स' नाम की पुस्तक के विमोचन के अवसर पर यह टिप्पणी की।
मणिशंकर अय्यर के बयान भाजपा हमलावर हो गई है। कांग्रेस ने उनके बयान से खुद को अलग कर लिया। कांग्रेस प्रवक्ता जयराम रमेश ने कहा कि अय्यर ने बिना शर्त माफी मांग ली है। अब ये मुद्दा खत्म हो जाना चाहिए।
BJP ने पूछा- कांग्रेस का चीनियों के प्रति प्रेम क्या बताता है?
मणिशंकर अय्यर के बयान को लेकर भाजपा ने कांग्रेस पर पलटवार किया है। आईटी सेल के चीफ अमित मालवीय ने अय्यर के बयान पर एक पोस्ट किया। उन्होंने आरोप लगाया कि नेहरू ने चीनियों के पक्ष में संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद में स्थायी सीट पर भारत का दावा छोड़ दिया। राहुल गांधी ने एक सीक्रेट समझौता ज्ञापन पर हस्ताक्षर किए। राजीव गांधी फाउंडेशन ने चीनी दूतावास से चंदा लिया। चीनी कंपनियों को भारत में व्यापार करने में आसानी हो, इस मकसद से एक रिपोर्ट प्रकाशित की गई। सोनिया गांधी की यूपीए सरकार ने चीनी सामानों के लिए भारतीय बाजार खोल दिया, जिससे देश के सूक्ष्म लघु एवं मध्यम उद्योग को नुकसान हुआ।
अब कांग्रेस नेता अय्यर 1962 के चीनी आक्रमण पर पर्दा डालना चाहते हैं। 1962 की जंग के बाद चीनियों ने 38,000 वर्ग किमी भारतीय क्षेत्र पर अवैध कब्जा कर लिया था। मालवीय ने कटाक्ष करते हुए सवाल पूछा कि कांग्रेस का चीनियों के प्रति प्रेम क्या बताता है?
कांग्रेस ने पीएम मोदी पर साधा निशाना
कांग्रेस ने भले ही मणिशंकर अय्यर के बयान से खुद को अलग कर लिया हो, लेकिन पीएम मोदी को टारगेट किया है। कांग्रेस महासचिव जयराम रमेश ने ट्वीट करके प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर मई 2020 में चीन की घुसपैठ के लिए उन्हें क्लीन चिट देने का आरोप लगाया।
जयराम रमेश ने कहा- भारत पर 20 अक्टूबर 1962 को शुरू हुआ चीनी आक्रमण वास्तविक था। मई 2020 की शुरुआत में भी लद्दाख में चीनी घुसपैठ हुई, जिसमें हमारे 40 सैनिक शहीद हो गए। लेकिन प्रधानमंत्री ने 19 जून 2020 को चीनी घुसपैठ को सिरे से खारिज कर दिया और क्लीन चिट दे दी। प्रधानमंत्री के बयान के बाद भारत की स्थिति कमजोर हो गई। उन्होंने दावा किया देपसांग और डेमचोक सहित 2000 वर्ग किमी का क्षेत्र भारतीय सैनिकों के कब्जे में नहीं है और चीन ने भारत की जमीन पर कब्जा कर रखा है।
पाकिस्तान को इज्जत देनी चाहिए
चीन के विवाद से पहले मणिशंकर अय्यर का पाकिस्तान को लेकर एक वीडियो मई में सामने आया था। उन्होंने कहा था कि पाकिस्तान को इज्जत देनी चाहिए। हमें यह नहीं भूलना चाहिए कि उसके पास परमाणु बम है। कोई सिरफिरा आया तो हम पर इसका इस्तेमाल कर सकता है। मुझे यह समझा नहीं आता कि नरेंद्र मोदी सरकार ये क्यों कहती है कि हम पाकिस्तान से बात नहीं करेंगे, क्योंकि वहां आतंकवाद है। आतंकवाद को खत्म करने के लिए चर्चा जरूरी है। वरना पाकिस्तान सोचेगा भारत अहंकार के साथ दुनिया में हमें छोटा दिखा रहा है।