PM Modi Post on Atal Bihari Vajpayee: पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी की जयंती पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने उन्हें याद करते हुए इमोशनल पोस्ट शेयर किया। अटल जी को याद करते हुए पीएम मोदी ने लिखा, "यह मेरा सौभाग्य है कि मुझे उनका भरपूर आशीर्वाद मिला।" अटल जी के शासनकाल में ही नरेंद्र मोदी गुजरात के मुख्यमंत्री बने थे। पीएम मोदी ने अटल जी को अपना राजनीतिक गुरु बताया और उनके सानिध्य को अपने जीवन की बड़ी उपलब्धि करार दिया। पीएम मोदी ने 25 दिसंबर को 'सुशासन दिवस' बताते हुए कहा कि यह दिन भारतीय राजनीति और जनमानस के लिए अटल जी की अटूट विरासत का प्रतीक है।
अटल जी की कविता "कूच से क्यों डरूं?" का किया जिक्र
पीएम मोदी ने अटल जी के साथ बिताए अपने व्यक्तिगत पलों को साझा किया। पीएम मोदी ने लिखा, "मैं जी भर जिया, मैं मन से मरूं...लौटकर आऊंगा, कूच से क्यों डरूं? अटल जी के ये शब्द कितने साहसी हैं...कितने गूढ़ हैं। अटल जी, कूच से नहीं डरे...उन जैसे व्यक्तित्व को किसी से डर लगता भी नहीं था। वो ये भी कहते थे... जीवन बंजारों का डेरा आज यहां, कल कहां कूच है..कौन जानता किधर सवेरा।अटल जी की यह पंक्तियां आज भी देशवासियों को प्रेरणा देती हैं।
वो स्नेह, अपनत्व, प्रेम मेरे जीवन का बहुत बड़ा सौभाग्य
पीएम मोदी ने लिखा कि पूर्व प्रधानमंत्री वाजपेयी से जुड़ी स्नेह और अपनत्व की बातें भी शेयर की। पीएम मोदी ने अपने ब्लॉग में लिखा, 'आज अगर पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी हमारे बीच होते, तो अपने जन्मदिन पर नया सवेरा देख रहे होते। मैं वो दिन नहीं भूलता जब उन्होंने मुझे पास बुलाकर अंकवार में भर लिया था और जोर से पीठ में धौल जमा दी थी। वो स्नेह, वो अपनत्व,वो प्रेम मेरे जीवन का बहुत बड़ा सौभाग्य रहा है।"
अटल जी के कार्यकाल की प्रमुख उपलब्धियां
पीएम मोदी ने अटल जी की सरकार की उपलब्धियों का जिक्र करते हुए बताया कि उनकी पहल आज भी देश को मजबूती प्रदान करती है। स्वर्णिम चतुर्भुज योजना, प्रधानमंत्री ग्राम सड़क योजना, और दिल्ली मेट्रो जैसे प्रोजेक्ट्स ने देश के इंफ्रास्ट्रक्चर को नई ऊंचाई दी। अटल जी ने आईटी और दूरसंचार में क्रांति लाकर भारत को विश्व पटल पर नई पहचान दिलाई।
कमाल के वक्ता और महान नेता
अटल जी की वक्तृत्व कला का जिक्र करते हुए पीएम मोदी ने कहा, "वो लोगों को अपनी बातों से बांध लेते थे। उनकी कविताएं और भाषण अद्वितीय थे।" संसद में दिया गया उनका वाक्य, "सरकारें आएंगी, जाएंगी, मगर यह देश रहना चाहिए," आज भी हर भारतीय के दिल में गूंजता है। उनके भाषणों को विरोधी भी सराहते थे।
महामना मदन मोहन मालवीय को भी श्रद्धांजलि
अटल जी के साथ ही पीएम मोदी ने स्वतंत्रता सेनानी पंडित मदन मोहन मालवीय को भी उनकी जयंती पर श्रद्धांजलि दी। उन्होंने उन्हें शिक्षा का अग्रदूत बताते हुए कहा कि उनका योगदान देश के लिए सदैव प्रेरणादायक रहेगा। पीएम मोदी ने कहा कि महामना का जीवन हर भारतीय को देश सेवा और शिक्षा के प्रति समर्पित रहने की प्रेरणा देता है।