Arvind Kejriwal Arrest News: दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल और उनके सभी मंत्री भले ही बार बार यह कहते रहे हों कि जेल से ही सरकार चलाएंगे, लेकिन ऐसी कोई संभावना नजर नहीं आ रही है। संविधान विशेषज्ञों के मुताबिक, इतिहास में कभी ऐसा कोई उदाहरण देखने को नहीं मिला है, जब किसी ने जेल से सरकार चलाई हो। कहा जा रहा है कि यदि केजरीवाल मुख्यमंत्री पद से इस्तीफा नहीं देते हैं तो दिल्ली में राष्ट्रपति शासन लागू किया जा सकता है। केजरीवाल के लिए जेल नियमावली में कोई बदलाव नहीं किया जा सकता है।
लग सकता है राष्ट्रपति शासन?
एनजीटी के न्यायिक सदस्य न्यायमूर्ति (सेवानिवृत्त) सुधीर अग्रवाल कहते हैं कि किसी सरकारी अधिकारी के जेल जाने की स्थिति में उसे निलंबित करने का कानून है, लेकिन राजनेताओं पर कानूनी तौर पर ऐसी कोई रोक नहीं है। फिर भी चूंकि दिल्ली पूर्ण राज्य नहीं है, ऐसे में अगर मुख्यमंत्री इस्तीफा नहीं देते हैं तो राष्ट्रपति दिल्ली में राष्ट्रपति शासन लागू कर सकते हैं।
किसी नेता ने नहीं चलाई जेल से सरकार
राज्यसभा के पूर्व महासचिव योगेंद्र नारायण का कहना है कि केजरीवाल को ईडी ने गिरफ्तार किया है। ऐसे में यदि उन्हें न्यायिक हिरासत में भेजा जाता है तो यह सीधे तौर पर अदालत पर निर्भर होगा कि वह उन्हें मुख्यमंत्री पद के दायित्व का निर्वहन करने देती है या नहीं। इसे लेकर संवैधानिक नियम-कायदे जैसी कोई बात नहीं है। हालांकि, अब तक के इतिहास में ऐसा कई मामला सामने नहीं आया है। जब किसी प्रधानमंत्री या मुख्यमंत्री ने जेल में रहकर सरकार चलाई हो।
अन्य कैदियों की तरह जेल में रहेंगे केजरीवाल
दिल्ली के पूर्व मुख्य सचिव उमेश सैगल ने कहा कि जेल में सभी कैदियों पर एक समान नियमावली लागू होती है। केजरीवाल पर भी वही जेल नियमावली है जो अन्य कैदियों के लिए है। इसके अनुसार जेल से वह केवल पत्र लिख सकते हैं, वह भी नियमित नहीं बल्कि समय समय। उन्हें वहां पर सरकारी फाइलें मंगवाने या कोई आदेश जारी करने की छूट कतई नहीं दी जा सकती। जेल में कैबिनेट बैठक करने की बात तो सीधे तौर कल्पना की तरह ही है।