vaishno devi attack: घटना के पीछे लश्कर-ए-तैयबा का हाथ, जानबूझ कर पीएम मोदी के शपथ ग्रहण के दिन किया गया अटैक

जम्मू-कश्मीर के रियासी में रविवार शाम को हुए आतंकी हमले के पीछे पाकिस्तान स्थित आतंकी संगठन लश्कर-ए-तैयबा (एलईटी) का हाथ है। इस हमले में वैष्णो देवी जा रहे 10 हिंदू तीर्थयात्रियों की मौत हो गई और 33 अन्य घायल हो गए।;

Update: 2024-06-10 06:24 GMT
Reasi terror attack
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vaishno devi attack news today: जम्मू-कश्मीर के रियासी में रविवार शाम को हुए आतंकी हमले के पीछे पाकिस्तान स्थित आतंकी संगठन लश्कर-ए-तैयबा (एलईटी) का हाथ है। इस हमले में वैष्णो देवी (vaishno devi) जा रहे 10 हिंदू तीर्थयात्रियों की मौत हो गई और 33 अन्य घायल हो गए। आतंकवादियों ने तीर्थयात्रियों की बस पर गोलीबारी की, जिससे बस खाई में गिर गई।

एलईटी के मुखौटे टीआरएफ ने ली जिम्मेदारी
रविवार शाम को लश्कर-ए-तैयबा के मुखौटे संगठन टीआरएफ (द रेजिस्टेंस फ्रंट) ने इस कायराना हमले की जिम्मेदारी लेते हुए इसे जम्मू-कश्मीर में पनपे आतंकवादियों का काम बताया, न कि लाहौर में बैठे विदेशी आतंकवादियों का।

हमले का समय और मकसद
शीर्ष आधिकारिक सूत्रों के अनुसार, यह हमला प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के तीसरे कार्यकाल के शपथ ग्रहण समारोह के दौरान जानबूझकर किया गया था। हमलावरों का समूह जम्मू क्षेत्र के राजौरी-पुंछ के जंगलों में तीन या दो के समूहों में घूम रहे लगभग 12 जिहादियों का था। इस समूह में कई पाकिस्तानी नागरिक भी शामिल हैं और एलओसी के उस पार सुरंग होने की संभावना है, हालांकि भारतीय सुरक्षा बलों ने इस बात से इनकार किया है।

पुंछ-राजौरी सेक्टर में हुए कई मुठभेड़
पिछले पांच वर्षों में, पुंछ-राजौरी सेक्टर में भारतीय सेना और आतंकवादियों के बीच कई मुठभेड़ें हुई हैं। इन एनकाउंटर्स में कई सैनिकों और अन्य सुरक्षाबलों की शहादत हुई है। गृह मंत्री अमित शाह और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इस हमले को गंभीरता से लिया है। खास तौर पर अमरनाथ यात्रा के करीब आने के बाद हुए इस आतंकी हमले के कारण सरकार काफी गंभीर हो गई है। बता दें कि अमरनाथ यात्रा 29 जून से शुरू होने वाली है। ऐसे में केंद्र सरकार ने भारतीय सेना को राजौरी-पुंछ सेक्टर में अपनी तैयारियां बढ़ाने के निर्देश दिए हैं।

सुरक्षा बलों के तालमेल में कमी
 इससे पहले 16 कॉर्प्स सेक्टर में भारतीय सुरक्षा बलों के बीच तालमेल की कमी की कई खबरें सामने आई हैं।  नॉदर्न आर्मी के कमांडर एम वी सुचिंद्र कुमार इस मुद्दे का हल निकालने में जुट गए हैं। जम्मू-कश्मीर पुलिस, अर्धसैनिक बलों और भारतीय सेना को एक साथ मिलकर कार्रवाई करने की योजना बनाई जा रही है। इसके साथ ही खुफिया तंत्र को मजबूत कर इस पाकिस्तानी आतंकी संगठन को बेअसर साबित करने के लिए रणनीति तैयार की जा रही है। 

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