Rishikesh AIIMS Bolero Entry Case: उत्तराखंड के ऋषिकेश स्थित AIIMS की चौथी मंजिल पर इमरजेंसी वार्ड में बोलेरो ले जाने का मामला तूल पकड़ता जा रहा है। इस मामले में पुलिस ने गुरुवार को सफाई दी। पुलिस ने बताया कि महिला डॉक्टर से छेड़छाड़ के आरोपी को गिरफ्तार करना था। आरोपी की गिरफ्तारी के लिए डॉक्टरों लगातार प्रदर्शन कर रहे थे। इसी वजह से पुलिस को यह कदम उठाना पड़ा।
महिला सर्जन ने लगाए गंभीर आरोप
एक महिला सर्जन ने पुरुष नर्सिंग अधिकारी सतीश कुमार पर ऑपरेशन थिएटर में छेड़छाड़ का आरोप लगाया था। गिरफ्तारी से बचने के लिए आरोपी सतीश चौथी मंजिल के वार्ड में भर्ती हो गया। इस वार्ड तक एम्बुलेंस भी पहुंच सकती है। इसके बाद पुलिस भी अपना बोलेरो लेकर वहां पहुंच गई और आरोपी काे अरेस्ट कर लिया। इस पूरी घटना का किसी ने वीडियो बना लिया।
पुलिस को हमले का था डर
पुलिस को आशंका थी कि प्रदर्शन कर रहे डॉक्टर आरोपी पर हमला कर सकते हैं। डॉक्टर आरोपी की गिरफ्तारी की मांग कर रहे थे, और पुलिस को लगा कि अगर आरोपी को बिना सुरक्षा निकाला गया, तो उसके साथ कोई अनहोनी हो सकती है।प्रदर्शन कर रहे डॉक्टर उस पर हमला कर सकते हैं, इसलिए AIIMS प्रशासन और पुलिस ने बोलेरो को रैंप से ऊपर ले जाने की योजना बनाई। बाद में AIIMS प्रशासन की मदद से आरोपी को किसी तरह अस्पताल से बाहर निकाला गया।
घटना का वीडियो आया सामने
घटना मंगलवार की है। इसका वीडियो भी सामने आया चुका है। वीडियो में देखा जा सकता है कि कि पुलिस और AIIMS के सुरक्षाकर्मी बोलेरो को निकालने के लिए मरीजों के स्ट्रेचर को हटा रहे हैं। इस दृश्य को देखकर मरीज भी घबरा गए। मरीज को भी यह समझ नहीं आया कि पुलिस की बोलेरो वार्ड में कैसे पहुंच गई। वीडियो सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म्स पर तेजी से वायरल हो रहा है।
आरोपी पर लगे गंभीर आरोप
महिला डॉक्टर का आरोप है कि मंगलवार को नर्सिंग अधिकारी सतीश कुमार ने सर्जरी के दौरान उनके साथ छेड़छाड़ की और अश्लील MMS भी भेजे। सीनियर डॉक्टर इस पर भड़क गए और पुलिस में शिकायत की। पुलिस ने मुकदमा तो दर्ज कर लिया, लेकिन कोई कार्रवाई नहीं की। अगले दिन बुधवार को डॉक्टरों ने काम का बहिष्कार कर दिया और नर्सिंग अधिकारी की गिरफ्तारी की मांग की। इसके बाद पुलिस आरोपी को गिरफ्तार करने के लिए चौथी मंजिल पर गाड़ी लेकर चढ़ गई।
घटना की जांच के लिए SIT गठित
AIIMS के कार्यकारी निदेशक प्रोफेसर मीनू सिंह ने बताया कि घटना की जांच के लिए SSP ने SIT गठित की है। जिस वार्ड से गाड़ी गुजरी, वह सेकेंडरी यूनिट है जहां मरीजों को भर्ती करने से पहले रखा जाता है। आरोपी की सुरक्षित गिरफ्तारी के लिए पुलिस को गाड़ी ऊपर ले जाना पड़ा, क्योंकि रेजिडेंट डॉक्टर और अन्य लोग वहां नारेबाजी कर रहे थे।