Prashant Kishor Vs Yogendra Yadav: देश में चल रहे लोकसभा चुनाव की प्रक्रिया में 5 फेज की वोटिंग हो चुकी है। अब सिर्फ दो फेज- 25 मई और एक जून की वोटिंग बाकी है। 4 जून को नतीजे आएंगे। लेकिन इससे राजनीतिक रणनीतिकार तमाम दावे कर रहे हैं। ऐसे में मतदाता उलझकर रह गया है। राजनीतिक विश्लेषक योगेंद्र यादव ने लोकसभा चुनाव को लेकर बड़ा दावा किया है। योगेंद्र ने कहा कि भाजपा जादुई आंकड़ा नहीं छू पाएगी। उसे 272 सीटें नहीं मिल रही हैं। चुनाव में भाजपा को 90 से ज्यादा सीटों का नुकसान होता दिख रहा है।
मैं अपने 35 साल के तजुर्बे से कह रहा: योगेंद्र
योगेंद्र यादव ने यह दावा एक इंटरव्यू में किया। उन्होंने कहा कि मैं अपने 35 साल के तजुर्बे से कह रहा हूं कि भाजपा को 272 सीटें कतई नहीं मिल रही हैं। योगेंद्र यादव ने एक अन्य चुनावी रणनीतिकार प्रशांत किशोर के दावों का भी जिक्र किया। प्रशांत किशोर वही शख्स हैं, जिन्होंने 2014 के लोकसभा चुनाव में भाजपा के चुनाव प्रचार की कमान संभाली थी। बाद में आम आदमी पार्टी और यूपी में कांग्रेस का चुनावी कैंपेन संभाला था। इन दिनों प्रशांत किशोर बिहार में जनसुराज अभियान चला रहे हैं।
प्रशांत किशोर की भविष्यवाणी पर कही ये बात
योगेंद्र यादव ने कहा कि प्रशांत किशोर आमतौर पर अपने राजनीतिक रुझानों को अलग रखकर मूल्यांकन करते हैं। मैंने उनका इंटरव्यू देखा है। प्रशांत किशोर ने स्पष्ट रूप से कहा कि मोदीजी की पर्सनल पॉपुलैरिटी को डेंट लगा है। राम मंदिर उस तरह का मुद्दा नहीं है। भाजपा के खिलाफ एक तरह की एंटी इनकम्बेंसी है, लेकिन पीएम मोदी के खिलाफ गुस्सा नहीं है। इसलिए भाजपा 303 सीटें हासिल कर सकती है। लेकिन प्रशांत किशोर की यह बात तर्कसंगत नहीं लगती है।
बंगाल, बिहार और ओडिशा में क्या होगा?
योगेंद्र यादव ने बंगाल, बिहार और ओडिशा के लोकसभा चुनावों पर भी अपनी प्रतिक्रिया दी। उन्होंने कहा कि कांग्रेस बहुत ज्यादा जगहों पर डैमेज नहीं कर पा रही है। बंगाल में सीधा मुकाबला भाजपा और टीएमसी के बीच है। यहां कांग्रेस नुकसान पहुंचाती दिख रही है। यहां मैं ड्रा मानता हूं। ओडिशा में भाजपा बढ़त इंप्रूव कर रही है। उन्होंने दावा करते हुए कहा कि बिहार में एनडीए को कम से कम 15 सीटों पर नुकसान होता दिखा रहा है।
प्रशांत किशोर ने क्या किया दावा?
प्रशांत किशोर ने मंगलवार को दो टीवी चैनल्स को इंटरव्यू दिए। दोनों जगहों पर उन्होंने दावा किया कि 2019 जैसा परिणाम 2024 के लोकसभा चुनाव का रहने वाला है। भाजपा के खिलाफ गुस्सा है, लेकिन नरेंद्र मोदी के सामने कोई मजबूत विकल्प नहीं है। नरेंद्र मोदी की अगुवाई में तीसरी बार एनडीए की सरकार बनने जा रही है। भाजपा 370 सीटें कतई नहीं जीतने जा रही है, लेकिन उत्तर भारत में होने वाले नुकसान को वह पूर्वोत्तर और दक्षिण भारत से भरपाई कर लेगी।