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अश्विन ने कहा, घरेलू क्रिकेटर्स को इंटरनेशनल क्रिकेट में डेब्यू करने से पहले आइडिया होगा कि LBW से बचने के लिए क्या तरीके अपनाने होंगे। 

Ravichandran Ashwin: भारत के दिग्गज ऑफ स्पिनर रविचंद्रन अश्विन इन दिनों इंटरनेशनल क्रिकेट से ब्रेक पर हैं। उन्हें दलीप ट्रॉफी से आराम दिया गया है, वह सीधे बांग्लादेश के खिलाफ टेस्ट सीरीज खेलते नजर आएंगे। सीरीज से पहले उन्होंने भारत में घरेलू क्रिकेट को लेकर बड़ा बयान दे दिया है। 

क्या बोले अश्विन?
BCCI ने दलीप ट्रॉफी में पहली पारी DRS यानी डिसिजन रिव्यू सिस्टम का इस्तेमाल किया। दोनों टीमों को हर पारी में 3-3 रिव्यू दिए जा रहे हैं। अश्विन ने इस फैसले का सपोर्ट किया। उन्होंने कहा कि दलीप ट्रॉफी ही नहीं रणजी ट्रॉफी, विजय हजारे और सैय्यद मुश्ताक अली टी-20 टूर्नामेंट में भी रिव्यू का इस्तेमाल होना चाहिए। 

इंटरनेशनल क्रिकेट के लिए मदद मिलेगी
अश्विन ने कहा, घरेलू क्रिकेट में अगर DRS का इस्तेमाल किया जाने लगा तो बैटर्स को फायदा होगा। उन्हें इंटरनेशनल क्रिकेट में डेब्यू करने से पहले आइडिया होगा कि LBW से बचने के लिए क्या तरीके अपनाने होंगे। 

रिकी भुई का एग्जाम्पल दिया 
अश्विन ने दलीप ट्रॉफी मैच में रिकी भुई का एग्जाम्पल दिया। अश्विन ने कहा, इंडिया-डी के रिकी भुई इंडिया-सी के मानव सुथार के खिलाफ LBW हो गए। 44 रन की पारी के बावजूद भुई सुथार के खिलाफ डिफेंड करने गए। 

इंटरनेशनल के लिए बताया जरूर 
भुई को फील्ड अंपायर ने नॉटआउट दिया, लेकिन रिव्यू लेने के बाद उन्हें पवेलियन लौटना पड़ा। क्योंकि बॉल उनके बैट से पहले पैड्स से लगी थी, जो सीधे स्टंप्स से लग रही थी। अश्विन ने कहा कि अगर इंटरनेशनल क्रिकेट में ऐसा डिफेंस करेंगे तो हर बार आउट ही होंगे, लेकिन घरेलू क्रिकेट में बैटर हर बार बच जाएगा। 

2019 में BCCI ने शुरू किया था DRS
BCCI ने घरेलू क्रिकेट में DRS की शुरुआत 2019-20 में की थी। हालांकि, तब सभी मैचों में रिव्यू सिस्टम अवेलेबल नहीं था। शुरुआत में अल्ट्रा एज और बॉल ट्रैकिंग की सुविधा भी नहीं थी। लेकिन बाद में सुधार हुए और 2022-23 के रणजी ट्रॉफी फाइनल में DRS का पूरी तरह इस्तेमाल किया गया। दलीप ट्रॉफी में भी अब DRS का इस्तेमाल हो रहा है। 

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