Asia-Pacific Deaf Games: मलेशिया के कुआलालंपुर में आयोजित 10वें एशिया पैसिफिक डेफ गेम्स में भारतीय टीम ने अपने प्रदर्शन से इतिहास रच दिया। 68 सदस्यीय टीम, जिसमें 42 पुरुष और 26 महिलाएं शामिल थीं, ने कुल 55 मेडल जीते। इनमें 8 स्वर्ण, 18 रजत, 29 कांस्य पदक शामिल है। इस जीत के साथ ही भारत ने 21 देशों में पांचवां स्थान हासिल किया। यह भारत का अब तक का सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन है।
शानदार प्रदर्शन के लिए खेल मंत्री ने खिलाड़ियों को दी बधाई
सोमवार को केंद्रीय युवा मामले और खेल मंत्री मनसुख मांडविया ने दिल्ली में अपने निवास पर खिलाड़ियों, कोच और सपोर्ट स्टाफ को सम्मानित किया। उन्होंने कहा, "आपने सिर्फ अपने लिए नहीं, बल्कि पूरे देश के लिए जीत हासिल की है। भारतीय खेल जगत सही दिशा में आगे बढ़ रहा है और आपकी मेहनत से देश का सम्मान बढ़ा है।"
पिछली बार भारत ने केवल 5 मेडल जीते थे
2015 में ताइवान में आयोजित गेम्स में भारत ने केवल 5 मेडल (2 स्वर्ण, 3 रजत) जीते थे और नौवें स्थान पर रहा था। इस बार खिलाड़ियों की संख्या और प्रदर्शन दोनों में जबरदस्त सुधार देखने को मिला।
भारत की झोली में 55 पदक
- एथलेटिक्स: 28 मेडल (5 स्वर्ण, 12 रजत, 11 कांस्य)
- बैडमिंटन: 6 मेडल (3 रजत, 3 कांस्य)
- चेस: 3 मेडल (1 रजत, 2 कांस्य)
- जूडो: 7 मेडल (2 स्वर्ण, 5 कांस्य)
- टेबल टेनिस: 3 मेडल (1 रजत, 2 कांस्य)
- रेसलिंग: 8 मेडल (1 स्वर्ण, 1 रजत, 6 कांस्य)
इस ऐतिहासिक प्रदर्शन के पीछे स्पोर्ट्स अथॉरिटी ऑफ इंडिया (SAI) की बड़ी भूमिका रही। खिलाड़ियों के लिए दिल्ली, सोनीपत और लखनऊ में स्पेशल ट्रेनिंग कैंप आयोजित किए गए। साथ ही, यात्रा और आवास का खर्च भी सरकार ने उठाया।
इन खिलाड़ियों ने शानदार प्रदर्शन किया
- प्रियंगा परमराज ने एथलेटिक्स में स्वर्ण और रजत मेडल जीते, अपनी बहुमुखी प्रतिभा का प्रदर्शन किया।
- सुमित दहिया ने कुश्ती में दो स्वर्ण जीतकर अपनी ताकत और तकनीक का प्रदर्शन किया।
- बैडमिंटन में जर्लिन अनीका जयराथगन ने 4 मेडल जीते, जिसमें मिश्रित डबल्स और टीम इवेंट में रजत शामिल हैं।
- जूडो में मिलनमीत कौर ने व्यक्तिगत और टीम इवेंट्स में मेडल जीते।