भारतीय कुश्ती संघ के खिलाफ बड़ा एक्शन, खेल मंत्रालय ने किया सस्पेंड, बृजभूषण सिंह को लगा झटका

Sports Ministry Suspends WFI: खेल मंत्रालय ने रेसलिंग फेडरेशन ऑफ इंडिया को सस्पेंड कर दिया है और अगले आदेश तक संघ की हर गतिविधि पर रोक लगा दी है।;

Update:2023-12-24 11:33 IST
खेल मंत्रालय ने भारतीय कुश्ती संघ को सस्पेंड कर दिया है।Brij Bhushan singh
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नई दिल्ली। रेसलिंग फेडरेशन के पूर्व अध्यक्ष बृजभूषण शरण सिंह और पहलवानों के बीच चल रही खींचतान के बीच खेल मंत्रालय हरकत में आया है। उसने रेसलिंग फेडरेशन ऑफ इंडिया की नई बॉडी को सस्पेंड कर दिया। मंत्रालय ने रविवार को अपने फैसले की घोषणा करते हुए कहा कि भारतीय कुश्ती संघ ने मौजूदा नियमों का उल्लंघन किया। बता दें कि हाल ही में बृजभूषण शरण सिंह के करीबी संजय सिंह रेसलिंग फेडरेशन का चुनाव जीतकर नए अध्यक्ष बने थे। 

खेल मंत्रालय की तरफ से जारी आधिकारिक बयान में कहा गया है कि नेशनल चैंपियनशिप का ऐलान जल्दबाजी में किया गया है और उसके लिए सही प्रक्रिया का पालन भी नहीं हुआ।  

खेल मंत्रालय ने भारतीय कुश्ती संघ को सस्पेंड किया
मंत्रालय ने हवाला दिया कि नवनिर्वाचित अध्यक्ष संजय कुमार सिंह ने 21 दिसंबर को घोषणा की कि जूनियर नेशनल चैंपियनशिप इस साल के अंत से पहले शुरू होगी। मंत्रालय ने बताया कि यह नियमों के खिलाफ है। इस तरह की प्रतियोगिता से पहले कम से कम 15 दिन का नोटिस देना जरूरी होता है ताकि पहलवान इसके लिए तैयारी कर सकें। 

खेल मंत्रालय ने नियमों की अनदेखी का आरोप लगाया
खेल मंत्रालय ने अपने बयान में आगे कहा, "इस तरह के निर्णय (नेशनल चैंपियनशिप कराना) कार्यकारी समिति द्वारा लिए जाते हैं, जिसके समक्ष एजेंडे को विचार के लिए रखा जाना जरूरी होता है। भारतीय कुश्ती संघ के संविधान के अनुच्छेद XI के अनुसार 'बैठक के लिए नोटिस और कोरम' शीर्षक के तहत, कार्यकारी समिति की मीटिंग के लिए न्यूनतम नोटिस अवधि होती है। बैठक के लिए 15 दिन पहले सूचना देनी होती है और 1/3 प्रतिनिधियों का कोरम होना जरूरी है। यहां तक कि इमरजेंसी मीटिंग के लिए भी, न्यूनतम नोटिस अवधि 7 दिन है और कोरम के लिए 1/3 प्रतिनिधियों की जरूरी होती है।"

खेल मंत्रालय ने नवनिर्वाचित फेडरेशन पर लगाए गंभीर आरोप
खेल मंत्रालय ने यह भी आरोप लगाया कि नई रेसलिंग फेडरेशन पिछले पदाधिकारियों के पूरे कंट्रोल में नजर आ रही, जिनके खिलाफ यौन उत्पीड़न के आरोप लगाए गए थे। मंत्रालय ने कहा, "ऐसा नजर आ रहा है कि नवनिर्वाचित कुश्ती फेडरेशन स्पोर्ट्स कोड की पूरी तरह अनदेखी करते हुए पूर्व पदाधिकारियों के इशारे पर चल रही।"

इसमें आगे कहा गया, "फेडरेशन को पूर्व पदाधिकारियों द्वारा नियंत्रित परिसर से चलाया जा रहा है। यह वही परिसर है, जिसमें खिलाड़ियों के यौन उत्पीड़न का आरोप लगाया गया है और वर्तमान में कोर्ट इस केस की सुनवाई कर रही है।"

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