नई दिल्ली। इंग्लैंड के खिलाफ विशाखापट्टनम टेस्ट में शतक ठोकने के बाद यशस्वी जायसवाल ने राजकोट में शतक जमाया। ये यशस्वी का तीसरा टेस्ट शतक है। उन्होंने 122 गेंद में अपना शतक पूरा किया। यशस्वी ने इस पारी के दौरान अपनी दूसरी फिफ्टी महज 42 गेंद में पूरी की। इससे अंदाजा लगाया जा सकता है कि उन्होंने अर्धशतक पूरा होने के बाद कैसे अपने गियर बदले और ताबड़तोड़ अंदाज में शतक पूरा किया।
यशस्वी जायसवाल की इस पारी ने रवि शास्त्री को युवा सचिन तेंदुलकर की यादें ताजा करा दीं। शास्त्री ने कॉमेंट्री के दौरान कहा, "जायसवाल ने आज जिस तरह से बल्लेबाजी की, उससे प्रभावित हूं। केवल बल्ले से ही नहीं, बल्कि फील्डिंग में भी उनका प्रदर्शन अच्छा रहा। मुझे लगता है कि वो आगे रोहित शर्मा के लिए बतौर गेंदबाज भी एक विकल्प हो सकते हैं। वो लेग स्पिन, ऑफ स्पिन, हर तरह की गेंदबाजी कर लेते हैं। यशस्वी मुझे युवा तेंदुलकर की याद दिलाते हैं। हर समय व्यस्त। यह कहावत का एक उत्कृष्ट उदाहरण है 'यदि आप खुद पर विश्वास करते हैं, तो कुछ भी नहीं असंभव है। वो लगातार बेहतर हो रहे हैं।"
शतक लगाने से पहले, यशस्वी ने राजकोट टेस्ट के तीसरे दिन अच्छी फील्डिंग भी की थी। उन्होंने स्लिप में जो रूट का शानदार कैच लपका था। इस पर शास्त्री ने कहा, "यह बेहतरीन कैच था। गेंद तेजी से उनतक पहुंचीं थी। उसे स्लिप में ध्यान केंद्रित करना था। गेंद बल्ले का बाहरी किनारा लेकर नहीं आई थी, बल्कि रूट ने पूरा शॉट खेला था। कैच देखने में भले ही आसान दिख रहा, लेकिन ऐसा था नहीं। इस श्रृंखला में यशस्वी ने पहले भी कुछ शानदार कैच पकड़े हैं। मैंने दक्षिण अफ्रीका में उनकी प्रतिभा देखी, जहां उन्होंने स्लिप कॉर्डन में कुछ शानदार कैच लपके थे।"
यशस्वी राजकोट टेस्ट के तीसरे दिन अपना शतक पूरा करने के बाद रिटायर्ड हर्ट हो गए थे। वो चौथे दिन खेलने उतर सकते हैं।