बिलासपुर।  बिलासपुर का विकास आपसी सहयोग, चेतना और दलगत राजनीति से ऊपर उठकर ही हो सकता है। इसके लिए जनप्रतिनिधियों के साथ ही जनसहयोग की भी आवश्यकता होगी, जिस दिन ऐसा हो जाएगा, उस दिन बिलासपुर देश के सबसे खूबसूरत और बेहतर सुविधाओं वाले शहर के रूप में जाना और माना जाएगा।

बालाजी फाउंडेशन द्वारा आयोजित चेतना 

बिलासपुर और विकास कार्यक्रम में हरिभूमि के प्रधान संपादक डॉक्टर हिमांशु द्विवेदी ने ये बातें कहीं। कार्यक्रम मुख्य वक्ता डॉ. द्विवेदी ने बिलासपुर के विकास को लेकर किए गए प्रयास पर भी अपनी चिंताएं जाहिर की। उन्होंने कहा कि बिलासपुर को जो हक मिलना चाहिए था वह अभी तक नहीं मिल सका है इसलिए अब इसके समन्वित प्रयास की जरूरत है। कार्यक्रम के मुख्य अतिथि प्रदेश के उप मुख्यमंत्री अरूण साव थे। विशिष्ट अतिथि के तौर पर तखतपुर विधायक धर्मजीत सिंह, बिल्हा विधायक धरमलाल कौशिक, कोटा विधायक अटल श्रीवास्तव और बेलतरा विधायक सुशांत शुक्ला उपस्थित थे। डॉ. हिमांशु द्विवेदी ने कहा कि छत्तीसगढ़ बनने के बाद से प्रथम शब्द के लिए हर कोई लड़ाई रहा है तो बिलासपुर को उसका हक और स्वाभिमान दिलाने  के लिए भी पहल होनी चाहिए। उन्होंने कहा कि हर बिलासपुर वासी के दिल में यह कसक है कि आखिर बिलासपुर को वह सम्मान और हक क्यों नहीं मिल सका जिसका वह हकदार था।

बिलासपुर की आवाज उठेगी और सुनी भी जाएगी : साव

कार्यक्रम के मुख्य अतिथि और प्रदेश के उपमुख्यमंत्री अरुण साव ने कहा कि बिलासपुर के विकास के लिए हर जगह हर संभव उपलब्ध रहूंगा। यह विश्वास दिलाता हूं कि यहां की आवाज उठेगी और सुनी भी जरूर जाएगी। श्री साव ने कहा कि यह सही है कि बिलासपुर को वह हक और और मुकाम नहीं मिला, जिसका वह हकदार है। अब इसके लिए लेकिन ईमानदारी से प्रयास किया जाएगा। उन्होंने कहा कि बिलासपुर शहर को कुछ साल पहले सबसे अच्छा रहने वाले शहरों में से एक का स्थान मिला था और उसे इसी स्वरूप में बनाया जाएगा। बिलासपुर के सभी लोग एक परिवार की तरह रहते हैं और इस परिवार का प्रेम-भाईचारा बनाने की जिम्मेदारी हम सब की है। उन्होंने कहा कि बिलासपुर के प्रशासनिक और पुलिस अधिकारियों को बुलाकर कानून व्यवस्था के साथ ही नशे के कारोबार पर रोक लगाने के लिए सख्ती से कहा गया है। सुपर स्पेशलिटी हॉस्पिटल जल्द पूरा हो और कैंसर हॉस्पिटल का काम तेजी से हो इस बारे में स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों सभी बातचीत की गई है। बेहतर शिक्षा के लिए सभी कुलपतियों से लगातार बात हो रही है।

हवाई सुविधा मिले, लेकिन व्यवस्थित ट्रैफिक और सड़कें भी हों

डॉ. हिमांशु द्विवेदी ने कहा कि राज्य बनने के समय बिलासपुर और रायपुर दो बड़े शहर थे। वर्तमान में रायपुर कोसों आगे निकल गया है तो बिलासपुर की पहचान अभी भी वही है। बिलासपुर के विकास के लिए योजनाएं तो बहुत बनीं, लेकिन उनका क्रियान्वयन सही तरीके से नहीं हो सका इसलिए ही सुविधाएं पूरी तरह नहीं मिल सकीं। सीवरेज योजना अच्छी थी लेकिन सही तरीके से धरातल पर नहीं उतर पाने के कारण शहरवासियों के लिए परेशानी का सबब बन गईं। डॉ. द्विवेदी ने कहा, वर्तमान में बिलासपुर के जनप्रतिनिधित्व और लोगों को व्यापक चिंतन और दर्शन की जरूरत है। अरपा नदी में साल भर पानी रहे और यहां का तापमान कम हो, इस पर काम किया जाना बेहद जरूरी है। उन्होंने कहा कि हवाई जहाज की सुविधा जरूर मिलनी चाहिए, लेकिन इसके साथ ही व्यवस्थित सड़कें हों, इसके लिए भी सहभागिता के साथ प्रयास जरूरी है। डॉ. द्विवेदी ने कहा कि बिलासपुर के विकास के लिए हम सभी को दलगत राजनीति से उठकर बात करनी होगी, प्रयास करनी होगी। इस बारे में यदि बिलासपुर को सीख लेनी है तो इंदौर जैसे महानगर से सीख लेनी चाहिए, जहां यदि शहर के विकास की बात होती है तो हर कोई साथ आ जाता है, चाहे वह किसी भी राजनीतिक दल से क्यों ना जुड़ा हो। जब हम सभी एक साथ एक स्वर और में बिलासपुर विकास की बात करेंगे तो वह आवाज सरकार तक जरूर पहुंचेगी। उन्होंने कहा कि बिलासपुर में आय के स्रोत भी पर्याप्त है। बिलासपुर रेलवे जोन सबसे अधिक कमाई वाला जोन है तो एसईसीएल का मुख्यालय भी यहीं है।