रायपुर। महादेव सट्टा एप से जुड़े जिन दो कारोबारी रायपुर निवासी अमित अग्रवाल तथा कोलकाता निवासी नितिन टिबरेवाल को ईडी ने शुक्रवार को पूछताछ करने के बाद पांच दिन की रिमांड पर लिया है, उनके बारे में ईडी ने शनिवार को बयान जारी कर जानकारी देते हुए बताया है कि गिरफ्तार कारोबारी के विदेश में बैंक अकाउंट है जबकि नितिन ने सट्टे की एक बड़ी रकम शेयर बाजार में निवेश की है।
ईडी ने अपने बयान में कहा कि, महादेव सट्टा एप मामले में अब तक पौने छह सौ करोड़ सीज किए गए हैं। इसके साथ ही दो प्रापर्टी अटैच करने की जानकारी दी है। ईडी की जांच में यह बात सामने आई है कि नितिन ने ब्लैकमनी को छिपाने के लिए देश के साथ विदेश के बैंकों में रकम जमा की है। साथ ही अमित अग्रवाल द्वारा सट्टे की रकम को ब्याज में चलाए जाने की जानकारी ईडी को मिली है।
राज्यों में दर्ज प्रकरणों की जांच के बाद गिरफ्तारी
ईडी द्वारा जारी बयान के मुताबिक महादेव सट्टा एप मामले में छत्तीसगढ़, विशाखापट्टनम तथा देश के अन्य राज्यों में दर्ज प्रकरणों की जांच के बाद अमित तथा नितिन की गिरफ्तारी की गई है। ईडी के अनुसार ऑनलाइन महादेव बैटिंग एप एक सिडिकेंट है, जो अलग- अलग वेपसाइट पर नए उपयोगकर्ताओं को नामांकित करने, उपयोगकर्ता आईडी बनाने और बेनामी बैंक खातों के एक स्तरित वेब के माध्यम से धन की हेराफेरी करने में सक्षम बनाने के लिए ऑनलाइन प्लेटफॉर्म की व्यवस्था करता है।
इन कंपनियों का शेयर खरीदा है
ईडी की जांच से पता चला कि नितिन टिबरेवाल मेसर्स टेकप्रो आईटी सॉल्यूशंस लिमिटेड के बहुसंख्यक शेयरधारक हैं। जांच से पता चला कि यह कंपनी महादेव ऑनलाइन बुक के लिए फ्रंट के रूप में काम कर रही थी और विदेशी पोर्टफोलियो निवेश के माध्यम से भारत में अवैध संचालन करने में मदद करता था
अपने तथा पत्नी के नाम पर संपत्ति
महादेव सट्टा एप के पार्टनर अनिल अग्रवाल के भाई अमित जिसे ईडी ने शुक्रवार को गिरफ्तार किया है, उसके बारे में ईडी को जानकारी मिली है कि अमित ने महादेव सट्टा एप की रकम से अपने तथा अपनी पत्नी के नाम से बेशकीमती प्रापर्टी खरीदी है। उक्त प्रापर्टी खरीदने के बारे में अमित ईडी को जानकारी देने से बच रहा था।
पौने छह सौ करोड़ रुपए निवेश करने की जानकारी
ईडी द्वारा जारी बयान के मुताबिक अब तक की जांच में 572.41 करोड़ रुपए की चल संपत्ति जब्त की है। इसके साथ ईडी के अफसरों को पौने छह सौ करोड़ रुपए संपत्ति में निवेश करने की जानकारी मिली है। ईडी द्वारा जारी बयान के मुताबिक कई अवसर देने के बाद भी नितिन टिबरीवाल ने तथ्य छिपाने की कोशिश की। उन्होंने इंडी के सामने अपने विदेशी बैंक खातों और संपत्तियों का भी खुलासा नहीं किया, जिन्हें ईडी ने जांच के दौरान खोजा है।