देवराज दीपक-सारंगढ़। छत्तीसगढ़ के सारंगढ़ जिले के बरमकेला में इन दिनों बिजली कि आँख मिचौली बदस्तूर जारी है। नगर की बिजली व्यवस्था लंबे समय से काम चलाऊ हिसाब से चलती आ रही है। चाहे झूलते तारों की बात हो या जर्जर ट्रांसफार्मरों की इन विषयों पर कभी विभाग संजीदा नजर नहीं आता है। सुधार के नाम पर काम चलाऊ मरम्मत की परंपरा के चलते अब लंबे समय तक लाइट का चले जाने की बड़ी समस्या बनने लगी है।
मुश्किल यह है कि, कर्मचारी और अधिकारी बिजली की अव्यवस्था को लेकर गंभीर नहीं है ऐसे में लोग यही कह रहे हैं कि, कौन सुनेगा किसको सुनाने वाली कहावत चरितार्थ हो रही है। बहरहाल विद्युत की जारी आँख मिचौली से जिले के नगरी से लेकर ग्रामीण क्षेत्रों तक के लोग परेशान नजर आ रहे हैं बिजली की जारी आँख मिचौली के खेल से उनमें फैल रही नाराजगी विद्युत विभाग को कोसने में जा रही है।
रोज कई बार हो रही बिजली बंद
नगर में भी रोज कई बार बिजली बंद हो रही है। रात में भी कोई ठिकाना नहीं रहता हैं। इस दौरान लोगों की रात जागते हुए कटी विद्युत ना रहने की वजह से लोग काफ़ी परेशान हैं, जिससे उपभोक्ताओं को रोस्टर के अनुरूप समय से बिजली की आपूर्ति ही नहीं हो पा रही है। इसकी वजह से उन्हें मानसिक शारीरिक से लेकर आर्थिक तक की परेशानी उठानी पड़ रही है। वहीं ग्रामीण क्षेत्र के निवासियों की शिकायत है कि, बिजली कटौती से जहां खेती चौपट हो रही है। वहीं रहने वालो लोगों को भी गर्मी की वजह से आफत मची है।
रात में बिजली बंद से लोग हो रहे परेशान
ग्रामीण क्षेत्र में निवास करने वाले लोग तो रात में मौसम में आ रहे नमी की वजह से थोड़ा सुकून भी महसूस कर रहे हैं , लेकिन शहरी क्षेत्र के लोगों के लिए काफी फजीहत हो रही है उनकी पूरी रात विद्युत कटौती की वजह से जागते हुए बीत रही है। पखवाड़े भर से उन्हें चैन की नींद नसीब नहीं हो रही है। बिजली कटौती का आलम यह है कि, ग्रामीण से लेकर नगरीय क्षेत्र के लोग रोस्टर ही भूल चुके हैं कुछ घंटे के लिए कई हिस्सों में आ रही बिजली के साथ लो वोल्टेज की भी समस्या जुड़ी है इससे उसका किसी प्रकार से उपयोग नहीं हो रहा है। बिजली की आंख मिचौली से बरमकेला के लोग काफी परेशान हैं। बिजली कब आती है कब जाती है कोई ठिकाना नहीं।