रायपुर। तबादले के बाद भी कुर्सी पर जमे रहने वाले अधिकारी-कर्मचारियों पर सरकार ने शिकंजा कसा है। सामान्य प्रशासन विभाग द्वारा जारी आदेश में सभी विभागों के सचिवों को पत्र जारी करते हुए लिखा है कि अधिकारी-कर्मचारियों के तबादले का आदेश प्राप्त होने के पांच दिन के बाद छठवें दिन कार्यमुक्त माना जाएगा। पांच दिन के भीतर भी पदभार ग्रहण नहीं करने पर अगले दिन से उनकी नियुक्ति नवीन पदस्थापना के स्थान पर मानी जाएगी।

सामान्य प्रशासन विभाग के सचिव अन्बलगन पी. द्वारा जारी आदेश में यह भी उल्लेखित है कि तबादले के बाद विभागीय सचिव भी अधिकारी-कर्मचारियों को तत्काल कार्यमुक्त का आदेश जारी करें, ताकि वे नए पदस्थापना पर कार्यभार ग्रहण कर सकें। सामान्य प्रशासन को इस संबंध में शिकायत भी मिली थी कि तबादले के बाद कार्यमुक्त करने में विभागीय लेटलतीफी हो रही है। इसका खामियाजा अधिकारी-कर्मचारियों को भुगतना पड़ता है, वहीं कई प्रकरणों में कार्यमुक्त करने के बाद अधिकारी जमे रहते हैं।

इस कारण जारी करना पड़ा आदेश

जारी आदेश में कहा गया है कि, प्रशासनिक आवश्यकता और कार्य व्यवस्था बनाए रखने की दृष्टि से मंत्रालय के विभिन्न विभागों में पदस्थ अधिकारी और कर्मचारियों की पदस्थापना एक विभाग से दूसरे विभाग में की जाती है। अक्सर यह देखा गया है कि इन अधिकारी-कर्मचारियों की नवीन पदस्थापना किए जाने पर लंबे समय तक कार्यभार ग्रहण नहीं किया जा रहा है। कार्यभार ग्रहण नहीं करने के कारण वर्तमान में लागू इलेक्ट्रानिक गवर्नेस व्यवस्था के तहत संबंधित अधिकारी, कर्मचारी के वार्षिक गोपनीय प्रतिवेदन की अवधि का उल्लेख, ऑनलाइन अवकाश पोर्टल के संचालन आदि में भी कठिनाई का सामना करना पड़ता है।

संघ ने भी जताई आपत्ति

छत्तीसगढ़ मंत्रालयीन कर्मचारी संघ ने इस मामले में सामान्य प्रशासन विभाग को चिट्ठी लिखी थी। सामान्य - प्रशासन विभाग के सचिव से मिलकर ज्ञापन सौंपा था कि मंत्रालय के विभिन्न विभागों में कई कर्मचारी, अधिकारी लंबे समय से उच्चतर पदों पर पदोन्नति के बाद भी जमे हुए हैं। कुछ का स्थानांतरण अन्य विभागों में होने के बाद भी वह विभागीय सचिवों से कार्य आवश्यकता आदि का लेख करवाकर स्थानांतरण रुकवाने में सफल हो जाते हैं। पदोन्नति के बाद भी कई अधिकारी-कर्मचारी जमे हुए हैं, इस आदेश के बाद बदलाव होगा।