संजय यादव/कवर्धा- आदिवासियों के विकास के लिए सरकार कई योजनाएं संचालित कर रही है। इन्हीं योजनाओं में से एक 'प्रधानमंत्री जन मन योजना' है। जिसका उद्देश्य वनांचल में रहने वाले आदिवासी बैगाओं के कनेक्टिविटी के लिए सड़क निर्माण करना है। लेकिन प्रधानमंत्री सड़क निर्माण विभाग के अधिकारियों की लापरवाही के चलते इस पर पलीता लगते नजर आ रहें हैं। बिना अनुमति किसी भी गांव में सड़क निर्माण कर रहे हैं। जबकि जहां स्वीकृति मिल चुकी है, वहां निर्माण कार्य शुरू भी नहीं हुआ है।
दरअसल कवर्धा जिला के दुरस्थ वनांचल इलाके के आमापानी से खिचराही तक 9 किलोमीटर के लिए 7 करोड़ 36 लाख की लागत से 'प्रधानमंत्री जन मन' के तहत मार्च 2024 में मंजूरी मिली थी। लेकिन पीएम जीएसवाय विभाग के अधिकारियों की मनमानी का अंदाजा इसी बात से लगाया जा सकता है कि, जहां के लिए स्वीकृति मिली वहां निर्माण करने के जगह आमापानी से बरहापानी तक निर्माण किया जा रहा है। जबकि निर्माण का बोर्ड भी यहां नहीं लगाया गया है।
कच्चे और उबड़-खाबड़ रास्ते से परेशान लोग
ग्रामीणों का कहना है कि, जहां सड़क निर्माण किया जाना था, वहां नहीं करने से कच्ची और उबड़-खाबड़ रास्ते में आवागमन करने में भारी दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है। इधर, विभाग अधिकारी अपने आप को बचाने के लिए गोलमोल जवाब दे रहे हैं। अब देखना यह है कि, क्या सही जगहों पर सड़क निर्माण कराया जाएगा या नहीं और जो लापरवाही करने वाले ठेकेदार हैं। उनके खिलाफ कारवाई होगी या नहीं ?