Arvind Kejriwal on CAA: केंद्र सरकार के 11 फरवरी को नागरिकता संशोधन एक्ट (सीएए) के नियमों का नोटिफिकेशन जारी किया। इसके बाद देश में यह कानून लागू हो गया। इसको लेकर अब दिल्ली में सियासत तेज हो गई है। दरअसल, सीएम अरविंद केजरीवाल ने केंद्र सरकार के इस फैसले को वोट बैंक की राजनीति बताया, इसके साथ ही कहा कि इन शरणार्थियों को नागरिकता मिलने से देश में बेरोजगारी और अपराध बढ़ जाएगा। केजरीवाल के इस बयान के बाद से दिल्ली में रह रहे पाकिस्तानी हिंदू शरणार्थियों ने आज केजरीवाल के आवास के बाहर विरोध प्रदर्शन किया और उनके खिलाफ जमकर नारेबाजी की। इसको लेकर अब सीएम केजरीवाल ने केंद्र सरकार पर निशाना साधा है।

केंद्र पर साधा निशाना

दिल्ली सीएम ने सोशल मीडिया प्लेटफार्म एक्स पर शरणार्थियों के प्रदर्शन का एक वीडियो शेयर करते हुए केंद्र सरकार पर हमला बोला। उन्होंने लिखा कि पाकिस्तानियों को पूरी पुलिस सुरक्षा और सम्मान के साथ मेरे घर के बाहर प्रदर्शन करने की इजाजत मिल रही है। लेकिन केंद्र सरकार देश के किसानों को दिल्ली में आने की भी इजाजत नहीं दे रही है। किसानों के ऊपर आंसू गैस के गोले, लाठियां, डंडे और गोलियां चलवा रही है। केजरीवाल ने कहा कि पाकिस्तानियों को इतना सम्मान क्यों दिया जा रहा है?

क्या बोले थे केजरीवाल 

बता दें कि केंद्र सरकार के नागरिकता संशोधन एक्ट के नोटिफिकेशन जारी करने के बाद केजरीवाल ने एक वीडियो जारी कर कहा था कि देश में बेरोजगारी का आलम ये है कि हमारे देश के युवाओं को रोजगार नहीं मिल रहा है। लेकिन केंद्र सरकार अपने वोट बैंक की राजनीति के लिए पाकिस्तान, बांग्लादेश-अफगानिस्तान से लेकर लोगों को बसाना चाहती है। उनके लिए नौकरी, घर, संसाधन कहां से लाएंगे। इसके साथ ही केजरीवाल ने कहा कि अगर पाकिस्तान के लोगों को नागरिकता मिल जाएगी तो देश में अपराध और बढ़ जाएगा।

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मनोज तिवारी ने केजरीवाल को बताया हिंदू विरोधी

वहीं, सीएम केजरीवाल के इस बयान पर बीजेपी ने भी हमला बोला है। बीजेपी सांसद मनोज तिवारी ने कहा कि दिल्ली के मुख्यमंत्री ने सीएए का विरोध करके सिद्ध कर दिया कि हिंदू, सिख, बौद्ध, जैन और पारसी के आप बहुत बड़े शत्रु हैं। मनोज तिवारी ने कहा कि सीएम केजरीवाल को क्या हो गया है। यह इतना गिर जाएंगे कि दिल्ली की जनता सोच भी नहीं सकती। सीएए के बारे में आप फेक समाचार फैला रहे हैं। 31 दिसंबर 2014 से पाकिस्तान, अफगानिस्तान और बांग्लादेश में वो लोग जिनकी बहन बेटियों के साथ बलात्कार और शोषण हो रहा था, उन्होंने अपने प्राण बचाने के लिए भारत आए और पीएम ने उन्हें सीएए लाकर उन्हें नागरिकता देने का काम किया है, तो ये आखिर गलत क्या है।