Delhi Famous Temple : दिल्ली के इन पांच मंदिरों में दूर-दूर से दर्शन को आते हैं भक्त, जानें इतिहास और महत्व

राजधानी दिल्ली में दूर-दूर से लोग इन मंदिरों में दर्शन के लिए आते हैं। अगर आप भी अपनी जिंदगी में थोड़ा सुकून चाहते हैं, तो इन मंदिरों में जरूर जाएं।;

Update: 2023-12-25 07:23 GMT
Famous Temple In Delhi
दिल्ली के पांच प्रसिद्ध मंदिर।
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Famous Temple In Delhi: अगर आप भी दिल्ली में इंडिया गेट, लाल किला और कुतुब मीनार के अलावा धार्मिक मंदिरों की तलाश कर रहे हैं, तो दिल्ली के ये खास मंदिर दर्शन करने के लिए बेस्ट है। इन धार्मिक स्थलों में जाकर आप भागदौड़ भरी जिंदगी से कुछ समय के लिए दूरी बनाकर सुकून पाने के लिए जा सकते हैं। चलिए हम आपको बताते हैं कि ऐसे कौन से मंदिर है, जहां पर लोग दूर-दूर से दर्शन करने के लिए आते हैं। 

अक्षरधाम मंदिर

दिल्ली में स्थित भगवान स्वामीनारायण समर्पित अक्षरधाम मंदिर में लोग बहुत दूर-दूर से घूमने के लिए आते हैं। ये मंदिर भारत के सबसे बड़े हिंदू मंदिर परिसर में से एक है। अक्षरधाम मंदिर अपनी भव्यता और वास्तुकला के लिए जाना जाता है। ये मंदिर काफी आकर्षक होने की वजह से यहां पर साल भर लोगों की भीड़ रहती है। 

हनुमान मंदिर

ऐसा कहा जाता हैं कि मध्यकालीन समय में तुलसीदास जी ने अपनी दिल्ली यात्रा के दौरान इस मंदिर में दर्शन किए थे। दिल्ली के कनॉट प्लेस में स्थित हनुमान मंदिर काफी पुराना है। यहां पर हर रोज काफी भक्त दर्शन करने के लिए आते हैं। इन हनुमान मंदिर की वर्तमान इमारत का निर्माण आंबेर के महाराज मान सिंग प्रथम (1540-1614) ने मुगल सम्राट अकबर के शासन में करवाया था। लेकिन, इस मंदिर का विस्तार महाराजा जयसिंह द्वितीय ने (1688-1743) जंतर मंतर के साथ में करवाया था। इसके बाद भी मंदिर की इमारत में समय-समय पर बदलाव किए जाते हैं। 

छतरपुर मंदिर

दिल्ली का छतरपुर मंदिर गुंड़गांव और महरौली मार्ग के पास है। यह मंदिर दिल्ली का सबसे बडा और प्रसिद्ध मंदिर है। छतरपुर मंदिर माता कात्यायनी को समर्पित है, इसलिए इसका नाम कात्यायनी शक्तिपीठ के नाम पर रखा गया है। इस प्रसिद्ध मंदिर की स्थापना कर्नाटक के संत बाबा नागपाल जी ने की थी। इस मंदिर का शिलान्यास सन 1974 में श्री आद्या कात्यायनी शक्तिपीठ की ओर से किया गया था। यह मंदिर लगभग 70 एकड़ में फैला हुआ है। 

कालकाजी मंदिर

राजधानी दिल्ली के प्रमुख मंदिरों में से एक कालकाजी मंदिर है। इस मंदिर का निर्माण 18वीं शताब्दी में कराया गया था। यह मंदिर दक्षिणी दिल्ली के कालका जी में स्थित है। इस मंदिर को मनोकामना सिद्धपीठ और जयंती काली पीठ भी कहा जाता है। धार्मिक मान्यता है कि जब असुरों ने देवताओं को सताया तो ब्रह्मा जी की सलाह से देवताओं ने यहां शिव जी की आराधना की थी। 

झंडेवालान मंदिर

राजधानी दिल्ली के मध्य में स्थित मंदिर है, जहां पर मां झंडेवाली विराजती हैं। यह मंदिर झंडेवालान मार्ग, करोल बाग में स्थित है। इस मंदिर का इतिहास करीब 100 साल पुराना है। आज भी यह मंदिर अपनी मान्यता की वजह से काफी प्रसिद्ध है। यहां पर हर रोज दूर-दूर से दर्शन करने के लिए आते हैं। झंडेवालान मंदिर के कपाट सुबह 5 बजे खुल जाते हैं और भक्तों की लंबी लाइन लगनी शुरू हो जाती है। 

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