योगेंद्र शर्मा, Haryana: कोचिंग सेंटर चलाने वाले संचालकों को सरकार द्वारा जारी गाइडलाइन का पालन करना होगा। खास तौर पर उनका पंजीकरण कराना होगा। साथ ही तमाम जानकारी सरकार के निर्देशों के अनुसार देनी होगी। बच्चों की सुरक्षा और उन पर मानसिक दबाव नहीं बने, इसकी भी व्यवस्था करनी होगी। हरियाणा की सरकार विधिवत इस बारे में विधानसभा के बजट सत्र में एक बिल लेकर आ रही है। इसका ड्राफ्ट तैयार कर लिया गया है। बजट सत्र के दौरान बजट पेश हो जाने के बाद राज्य की मनोहर सरकार को जरूरी बिल पेश कर सकती है, इस दौरान कोचिंग केंद्रों को लेकर बिल लाने की तैयारी है, इसका ड्राफ्ट तैयार कर लिया गया है।

सोमवार को विधानसभा सचिवालय भेजा जाएगा बिल ड्राफ्ट

प्रदेश सरकार की तरफ से हरियाणा कोचिंग इंस्टीट्यूट (कंट्रोल और रेगुलेशन) बिल 2024 ड्राफ्ट को तैयार कर लिया गया। साथ ही इस पर मुख्यमंत्री ने वरिष्ठ अफसरों से विचार मंथन कर लिया है। भरोसेमंद उच्च अधिकारियों ने बताया कि बिल ड्राफ्ट सोमवार को विधानसभा सचिवालय में भेजा जाएगा। गृह विभाग की ओर से तैयार किए मृत शरीर सम्मान विधेयक 2024 और रजिस्ट्रेशन एंड रेगुलेशन आफ दी ट्रैवल एजेंसी एक्ट 2024 को पेश करने के लिए विधानसभा में भेजा जा चुका है। दूसरी तरफ स्वास्थ्य विभाग की ओर से तैयार किए हुक्का बारों के खिलाफ विधेयक को अंतिम रूप दिया जा चुका है।

कोचिंग इंस्टीट्यूट (कंट्रोल और रेगुलेशन) बिल 2024 का ड्राफ्ट

उच्च शिक्षा विभाग की ओर से कोचिंग संस्थानों पर शिकंजा कसने के लिए कंट्रोल और रेगुलेशन का ड्राफ्ट तैयार है। इसमें कोचिंग संस्थानों के लिए सरकार की ओर से गाइड लाइन तय की जाएगी अर्थात पंजीकरण अब संस्थानों को अनिवार्य रूप से कराना होगा। इसके अलावा स्थानीय स्तर पर संस्थानों की मनमानी रोकने के लिए कमेटी बनाई जाएगी। प्रस्तावित कानून की खास बात यह होगी कि कोचिंग संस्थानों को छात्र-छात्राओं के मानसिक विकास की निगरानी करनी होगी और परीक्षा के दौरान उनके तनाव के स्तर को कम करने के लिए अपने केंद्रों में कम से कम एक-एक मनोवैज्ञानिक नियुक्त करना अनिवार्य होगा। कोचिंग संस्थान अपने विद्यार्थियों पर दबाव और 100 फीसदी नंबर दिलाने का वादा नहीं करेगा। कोचिंग संस्थानों को अपने केंद्रों में दी जाने वाली कोचिंग की गुणवत्ता या कोचिंग में प्रस्तावित सुविधाओं या हासिल परिणाम या कक्षाओं का हिस्सा रहे छात्रों के बारे में किसी भी दावे से जुड़ा गुमराह करने वाला प्रचार नहीं करना होगा।

नियम न मानने वाले कोचिंग सेंटर पर होगी कार्रवाई

सरकार की तरफ से बनाए बिल में प्रावधान होगा कि कोचिंग इंस्टिट्यूट कानून के किसी प्रोविजन को तोड़ते हैं, तो उसे पहली बार 25 हजार का जुर्माना देना होगा। दूसरी बार गलती करने के बाद भी कोचिंग इंस्टिट्यूट के खिलाफ आरोप साबित होता है, तो कारण बताओ नोटिस और सुनवाई का पूरा मौका दिया जाएगा। लेकिन इसके बाद डिस्ट्रिक्ट अथॉरिटी इंस्टिट्यूट का रजिस्ट्रेशन कैंसिल कर देगी। हालांकि बिल में यह ध्यान रखा गया कि कोचिंग संस्थान चलाने वालों को अनावश्यक परेशानी ना हो, ऐसे इंस्टिट्यूट जिन पर आरोप है, स्टूडेंट या पेरेंट्स अपील अथॉरिटी के पास केस फाइल कर सकते हैं और उसको सुलझा सकते हैं। कोई भी कोचिंग इंस्टिट्यूट रेसिडेंटल और ऑनलाइन कोचिंग या ट्यूशन सेंटर और कोई भी कोचिंग इंस्टिट्यूट के वैलिड रजिस्ट्रेशन के बगैर नहीं चलाया जा सकता।