Haryana News: राजस्थान के सरिस्का वन्य प्राणी अभ्यारण से निकलकर बावल के निकट झाबुआ की बीहड़ पहुंचे टाइगर को रेस्क्यू करने के लिए वन विभाग की टीम ने शिकार का लालच दिया है। बीहड़ में सुरक्षित जगह पर कटड़ा बांधा गया है, ताकि शेर उसका शिकार करने के लिए पहुंच जाए। बताया जा रहा है कि टाइगर तीन दिनों से बीहड़ में छुपा हुआ है। सरिस्का व राजस्थान वन विभाग की सात टीमें उसे पकड़ने के लिए आई हुई हैं।
किसानों को खेतों में जाने पर लगाई रोक
इनमें टाइगर को ट्रेंकुलाइज करने वाला डॉक्टर भी शामिल है। रविवार की रात यह टाइगर वन विभाग की ओर से लगाए गए कैमरे में साफ दिखाई दिया था। इसके बाद आसपास के करीब एक दर्जन गांवों के किसानों को अकेले खेतों में जाने से मना किया हुआ है। बुधवार को रेस्क्यू टीमों ने उस एरिया में एक कटड़ा बांध दिया, जिसमें टाइगर कैमरे में कैद हुआ था। विभाग की टीमें जल्द टाइगर का रेस्क्यू करने का प्रयास कर रही हैं, परंतु बीहड़ ज्यादा लंबा-चौड़ा होने के कारण टाइगर लगातार इन टीमों को चकमा दे रहा है।
टीमों को पहले भी गच्चा दे चुका टाइगर
बीते दिनों टाइगर खुसखेड़ा की ओर से धारूहेड़ा क्षेत्र के गांवों तक पहुंच गया था। फरवरी माह में सरसों की फसल में घुसने के बाद उसे काबू करना मुश्किल हो गया था। उस समय भी बचाव टीमों ने कटड़ा बांधकर शिकार का लालच दिया था, परंतु टाइगर कटड़े तक नहीं पहुंच पाया था। रेस्क्यू टीमों ने बाद में नजर आने पर टाइगर को ट्रेंकुलाइज कर दिया था। वह बेहोश होने के कुछ समय बाद ही टीमों को चकमा दे गया था।, बाद में टाइगर वापस सरिस्का चला गया था।
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