Gurugram: सिकंदरपुर क्राइम ब्रांच ने बैंगलुरू से दिल्ली तस्करी के लिए कैंटर में भरकर लाई जा रही दो करोड़ की चंदन की लकड़ी मानेसर एनएच-48 पर पकड़ी। पुलिस नाका देखकर कैंटर का ड्राइवर फरार हो गया। पुष्पा द राइज फिल्म की तर्ज पर चंदन की लकड़ियां तस्करी के लिए मशीनरी के कार्टून में भरकर लाई जा रही थी। पुलिस द्वारा पकड़ी करीब 4200 किलो चंदन की लकड़ी की कीमत करीब दो करोड़ रुपए बताई जा रही है। मानेसर थाना में पुलिस ने केस दर्ज कर जांच शुरू कर दी।
कर्नाटक नंबर के कैंटर में भरी थी चंदन की लकड़ी
सिकंदरपुर क्राइम ब्रांच के प्रभारी सुरेंद्र सिंह की टीम को सूचना मिली कि चंदन की लकड़ी से लदा कर्नाटक के नंबर का एक कैंटर केएमपी से होते हुए जयपुर-दिल्ली हाईवे से दिल्ली की तरफ जाएगा। इसके बाद टीम ने मानेसर घाटी में शनिदेव मंदिर के पास दिल्ली जाने वाले मार्ग पर नाकेबंदी कर दी। वन विभाग के रेंज अधिकारी कर्मवीर को भी इसकी सूचना दी गई। रात करीब दो बजे जयपुर की तरफ से एक कैंटर आता दिखाई दिया और पुलिस ने चालक को रुकने का इशारा किया। कैंटर चालक ने नाका से करीब 20 कदम पहले ही कैंटर को साइड में रोका और मानेसर पहाड़ी की घाटी में अंधेरे का फायदा उठाकर भाग गया। पुलिस के काफी तलाश करने के बाबजूद आरोपी चालक नहीं मिला। कैंटर के अंदर मशीनरी के कार्टून बॉक्स में चंदन की लकड़ी भरी मिली।
बॉक्स में भर रखी थी चंदन की लकड़ी
कर्मवीर ने लकड़ियों को चेक करने के बाद बताया कि इसमें कुल 125 लकड़ियां मिली। आरोपियों ने लकड़ी को तीन-पांच फीट का काटकर कोका कोला, प्रिंस कैसल बिन आइस फिलर, कॉर्नेलियस ब्लू, इलेक्ट्रिक डिस्पेंसर जैसे नाम के बाक्स में रखी थी। कैंटर का धीरज धर्मकांटा नजदीक पॉवर ग्रिड तावडू रोड पचगांव पर ले जाकर वजन कराया। जहां 42 क्विंटल लकड़ी बरामद हुई। जांच में पता चला कि यह कैंटर बैंगलुरू की एक लॉजिस्टिक कंपनी का था। जिसे नूंह निवासी आमिर चला रहा था। सिकंदरपुर क्राइम ब्रांच ने मानेसर थाने में संबंधित धाराओं में केस दर्ज कराकर जांच शुरू कर दी।