भोपाल। मध्यप्रदेश की 16वीं विधानसभा के बजट सत्र का आज पांचवां दिन है। मंगलवार को एक लाख 45 हजार करोड़ रुपए के अंतरिम बजट पर चार घंटे चर्चा होगी। साथ ही 'टंट्या मामा' और 'भारत रत्न' के मुद्दे पर विपक्ष फिर हंगामा कर सकता है। सीएम मोहन यादव और मंत्री कैलाश विजयवर्गीय के टंट्या मामा वाले बयान पर कांग्रेस विधायक हंगामे की रणनीति से विधानसभा पहुंचेंगे। क्योंकि सोमवार को मुख्यमंत्री मोहन यादव जब बोल रहे थे, उसी वक्त विजयवर्गीय ने कांग्रेस पर गुरु गोविंद सिंह और टंट्या मामा को लुटेरा बताने का आरोप लगाया था। विजयवर्गीय ने NCERT की किताब का जिक्र किया। विपक्ष के विधायकों ने इस बयान पर आपत्ति जताते हुए सदन से वॉकआउट कर दिया।
सोमवार को उठा था मुद्दा, हंगामा बढ़ा तो स्थगित हो गई थी कार्यवाही
सोमवार को मुख्यमंत्री मोहन यादव ने सदन में कहा कि टंट्या मामा के अपमान का अगर कोई जिम्मेदार है तो वह कांग्रेस है। कैलाश विजयवर्गीय ने कहा कि कांग्रेस ने टंट्या मामा को लुटेरा कहा था। विजयवर्गीय के बयान पर कांग्रेस विधायकों ने आपत्ति जताई। कांग्रेस विधायकों ने विजयवर्गीय के बयान को सदन की कार्यवाही से विलोपित करने की मांग की। इस पर भाजपा के विधायकों ने कहा-NCERT की किताबों में साफ तौर पर लुटेरा लिखा था। उसे मुरली मनोहर जोशी ने ठीक करने का काम किया था।
विधानसभा अध्यक्ष आज दे सकते हैं फैसला
विधानसभा अध्यक्ष नरेंद्र सिंह तोमर ने इसी बीच कहा कि एक विषय कैलाश जी ने उठाया। उस पर कांग्रेस के लोगों को आपत्ति है। बहुत से सदस्यों ने NCERT की किताबों का हवाला दिया। चूंकि अभी मेरे सामने किताब नहीं है। मैं किताब देखने के बाद कुछ निर्णय ले पाऊंगा। अध्यक्ष के बयान के बाद भी कांग्रेस विधायक शब्दों को विलोपित करने की मांग पर अड़े। रामनिवास रावत और नरेंद्र सिंह कुशवाह के बीच विवाद की स्थिति बनी। अध्यक्ष ने हस्तक्षेप किया। बाद में कांग्रेस सदस्यों ने सदन से वॉकआउट कर दिया था। आज मंगलवार को टंट्या मामा वाले मुद्दे पर विधानसभा अध्यक्ष नरेंद्र सिंह तोमर फैसला कर सकते हैं।
भारत रत्न: उमंग सिंघर के बयान पर हुआ था हंगामा, आज भी उठ सकता है मुद्दा
सोमवार को भारत रत्न का मामला भी गरमाया था। सीएम मोहन यादव ने कहा था कि पीएम नरेंद्र मोदी ने पांच भारत रत्न दिए गए। इसमें कर्पूरी ठाकुर, लालकृष्ण आडवाणी, चौधरी चरण सिंह, डॉक्टर स्वामीनाथन और नरसिम्हा राव शामिल हैं। जिनके लिए कांग्रेस पार्टी ने कोई ध्यान नहीं दिया। उनको भी भारत सरकार भारत रत्न देने जा रही है।
नेता प्रतिपक्ष उमंग सिंघार ने इसी बीच कहा था कि भारत रत्न एक बहुत बड़ा गौरवशाली सम्मान होता है और जो भारत के संविधान में उल्लेखित है लेकिन आपने एक साल में 5- 6 बांट दिए। उमंग के बयान पर सत्ता पक्ष के विधायकों ने हंगामा शुरू कर दिया। जिस पर अध्यक्ष ने व्यवस्था देते हुए कहा भारत रत्न भारतवर्ष का सर्वोच्च सम्मान है इस पर कोई टिप्पणी नहीं की जा सकती, जो शब्द आए हैं उनको विलोपित किया जाता है। आज भी यह मुद्दा विधानसभा में गूंज सकता है।