MP Government: मध्यप्रदेश की 'मोहन सरकार पर कर्ज का बंपर बोझ है। सरकार 4.23 लाख करोड़ के कर्ज में डूबी है। पिछले 15 महीने में सरकार 17 बार कर्ज ले चुकी है। 2 साल में 98 हजार करोड़ का कर्ज एमपी सरकार ने केंद्र से लिया है। अब फिर सरकार कर्ज लेने की तैयारी में है। जन्माष्टमी के अगले दिन 27 अगस्त को मोहन सरकार 5 हजार करोड़ का कर्ज लेगी। इससे पहले इसी महीने छह अगस्त को सरकार ने 5 हजार करोड़ का कर्ज लिया था। बता दें अगस्त में एमपी सरकार 10 हजार करोड़ कर्ज ले चुकी है।
2038 तक कर्ज चुकाएगी सरकार
जानकारी के मुताबिक मोहन सरकार 5000 हजार करोड़ का कर्ज दो बार में ढाई-ढाई हजार करोड़ रुपए के रूप में लेगी। वित्त विभाग ने नए लोन के लिए ऑक्शन की अधिसूचना जारी कर दी गई है। विभाग ने कहा है कि ढाई हजार-ढाई हजार करोड़ का यह कर्ज 28 अगस्त 2038 तक 14-14 साल की अवधि के लिए लिया जा रहा है। इसका ब्याज सरकार हर साल जमा करती रहेगी।
चालू वित्त वर्ष में सरकार का तीसरा लोन
छह अगस्त को लिए गए पांच हजार करोड़ कर्ज का 11 और 21 साल की अवधि में ब्याज का भुगतान करना तय किया है। इस कर्ज की राशि अलग-अलग 2500-2500 करोड़ रुपए रही है। कर्ज लेने के बाद सरकार ने 1.29 करोड़ लाड़ली बहनों को राखी के लिए 250 रुपए और 1250 रुपए की मासिक किश्त, कर्मचारियों को महंगाई भत्ते के बकाया एरियर्स की राशि का भुगतान किया था। चालू वित्त वर्ष में मोहन सरकार यह तीसरा कर्ज ले रही है।
जानें एमपी सरकार पर कितना कर्ज
मध्यप्रदेश पर 31 मार्च 2024 को खत्म हुए वित्त वर्ष में 4.18 लाख करोड़ का कर्ज था। यह जानकारी वीडी शर्मा के सवाल पर केंद्र सरकार के मंत्री ने संसद में दी थी। 6 अगस्त को मोहन सरकार ने 5000 करोड़ का कर्ज और ले लिया। अब एमपी सरकार पर कुल 4.23 लाख करोड़ का कर्ज हो गया है। मार्च 2023 में मध्यप्रदेश पर 3.65 लाख करोड़ का कर्ज था। 2022 में कर्ज की स्थिति 3.25 लाख करोड़ थी। प्रदेश सरकार पिछले 2 साल में 98 हजार करोड़ का कर्ज ले चुकी है।
जानें सरकार ने कब, कितना लिया कर्ज
महीना | कर्ज की राशि |
25 जनवरी 2023 | 2000 करोड़ |
02 फरवरी 2023 | 3000 करोड़ |
09 फरवरी 2023 | 3000 करोड़ |
16 फरवरी 2023 | 3000 करोड़ |
23 फरवरी 2023 | 3000 करोड़ |
02 मार्च 2023 | 3000 करोड़ |
09 मार्च 2023 | 2000 करोड़ |
17 मार्च 2023 | 4000 करोड़ |
24 मार्च 2023 | 1000 करोड़ |
29 मई 2023 | 2000 करोड़ |
14 जून 2023 | 4000 करोड़ |
12 सितंबर 2023 | 1000 करोड़ |
27 दिसंबर 2023 | 2000 करोड़ |
23 जनवरी 2024 | 2500 करोड़ |
7 फरवरी 2024 | 3000 करोड़ |
22 मार्च 2024 | 5000 करोड़ |
6 अगस्त 2024 | 5000 करोड़ |
पांच माह में 17500 करोड़ का कर्ज लिया
राजकोषीय उत्तरदायित्व एवं बजट प्रबंधन अधिनियत के प्रावधान के अनुसार, सरकार राज्य सकल घरेलू उत्पाद का तीन प्रतिशत तक ऋण ले सकती है। सरकार नियमों के अनुसार ही कर्ज लेने जा रही है। वर्ष 2024-25 में सरकार 65 हजार करोड़ तक कर्ज ले सकती है। पिछले साल नवंबर में विधानसभा चुनाव के बाद बनी नई सरकार को विरासत में 3.5 लाख करोड़ रुपए का कर्ज मिला है। उसने नवंबर से मार्च के बीच 17,500 करोड़ रुपए का नया कर्ज लिया है।