Lok Sabha Chunav 2024: कांग्रेस की महासचिव प्रियंका गांधी गुरुवार को मुरैना पहुंचीं। यहां चुनावी सभा को संबोधित करते समय प्रियंका भावुक हो गईं। प्रियंका ने कहा कि 19 साल की उम्र में जब मैं अपने शहीद पिता जी के टुकड़े घर लाई। तो मैं नाराज थी इस देश से। मेरे दिल में ये भावना थी कि मैंने अपने पिता को भेजा, तुम्हारा काम का सुरक्षित रखना। मैंने अपने पिता को हिफाजत से तुम्हारे पास भेजा। लेकिन मुझे टुकड़े लौटा दिए। टुकड़े देश के झंडे में लपेटे हुए थे। मैं नाराज थी। मैं समझती हूं शहादत का क्या मतलब है।
देश के लिए मेरे दिल में कितना प्रेम है कैसे समझाऊं
आज मैं 52 साल की हूं, पहली बार मैंने मंच पर ये बात सार्वजनिक की है। वो नाराजगी थी, मैं समझी इस तरह की नाराजगी उसी से होती है जिससे प्रेम होता है। मेरे देश के लिए मेरे दिल में कितना प्रेम है मैं कैसे समझाऊं। मोदी जी मेरे पिता को मंच पर खड़े होकर देशद्रोही बोलते हैं। मोदी जीत कहते हैं मेरे पिता ने कोई कानून बदल दिया उनकी मां से विरासत लेने के लिए। तो मेरे दिल.. मोदी जी इस बात को समझ नहीं पाएंगे। कि मेरे पिता को विरासत में धन दौलत नहीं मिली। मेरे पिता को विरासत में शहादत की भावना मिली।
मोदी जी नहीं समझ सकते ये भावना
प्रियंका ने आगे कहा कि आप समझ सकते हैं। इस देश के किसान हो। इस देश की मुट्टी आपने अपने पसीने से सींची है। आपने अपने बेटे भेजें हैं शहादत पर। जब आपके बेटे शहीद होते हैं देश के लिए तो मैं जानती हूं कि आपके दिल में क्या भावना है। क्योंकि वही भावना मेरे दिल में है। जो पुलवामा में शहीद हुए उनमें कुछ परिवार यूपी के थे। मैं उनके घर गई। उन परिवारों में जो बच्चे बचे थे, उन्होंने मुझसे कहा दीदी मुझे भी सेना में भर्ती होना है। एक लड़की थी, उसका भाई एयरफोर्स में था। उसने कहा दीदी मैं एयरफोर्स में भर्ती होकर पायलेट बनूंगी। यही है शहादत की भावना। मोदी जी नहीं समझ सकते।
मेरे भाई पर इतने केस डाल दिए कि वो इधर से उधर जाता है
प्रियंका ने कहा कि मोदी जी इंदिरा गांधी जैसी शहीद के बारे में उल्टी-सीधी बात करते हैं। जो मोदी जी इस भावना को देखकर सिर्फ परिवारवाद देखते हैं। देशभक्ति नहीं देखते। देश की सेवा नहीं देखते। वो इस भावना को नहीं समझ सकते। मैं आपको ये कहने आई हूं। हमें देशद्रोही कहें। हमें घर से निकाल दें। मेरे भाई को संसद से निकाल दिया। हम पर केस डाले। मेरे भाई पर इतने केस डाल दिए। कभी इधर कभी उधर, कभी गुजरात में, कभी बिहार में जाता है कोर्ट-कचहरी। कुछ भी कर लें। मार डालें। लेकिन ये भावना हमारे दिल से कोई नहीं निकाल सकता।
मैं किसान परिवारों से मिलने गई तो मुझे गिरफ्तार करवा दिया
प्रियंका ने कहा कि दिल्ली बॉर्डर पर लाखों किसानों ने आंदोलन किया, लेकिन PM मोदी ने उनकी एक बात नहीं सुनी। जब उत्तर प्रदेश का चुनाव आया और सैकड़ों किसान शहीद हो गए, तब जाकर तीन काले कानून वापस लिए। लखीमपुर में BJP के मंत्री के बेटे ने अपनी जीप से किसानों को रौंद दिया, लेकिन PM मोदी मंत्री और उनके बेटे को बचाने में लगे रहे। मैं किसान परिवारों से मिलने गई तो मुझे ही गिरफ्तार करवा दिया, लेकिन मंत्री और उसके बेटे को गिरफ्तार नहीं होने दिया, जिन्होंने किसानों को कुचला।
वैक्सीन वाली कंपनी ने मोदी जी की पार्टी से चंदा लिया
आपको कोविड की वैक्सीन लगी थी। वैक्सीन के सर्टिफिकेट पर किसका चेहरा था। मोदी जी का चेहरा था। आज क्या पता चल रहा है। उस वैक्सीन में कुछ और भी था। मतबल उस वैक्सीन से कुछ लोगों को दिल का दौरा पड़ सकता है, अचानक वो मर जाते हैं, आज पता चल रहा है। वो एक ही कंपनी थी। कंपनी कहती है कि कुछ लोगों को रिएक्शन हो सकता है। उस कंपनी से मोदी जी की पार्टी ने चंदा लिया। प्रियंका गांधी ने कहा- जिन लोगों पर मोदी जी ने छापा लगवाया था। उनसे उनकी पार्टी चंदा लेती है। फिर छापे बंद। फिर जिन पर केस डाले थे। और जिन पर मुकदमे डाले थे, उनसे चंदा लेते हैं और मुकदमे ठंडे बस्ते में चले जाते हैं। आप चंदा ले रहे थे कि वसूली कर रहे थे।