Chetna toughest rescue operation: बोरवेल में फंसी 3 साल की चेतना को आखिरकार दसवें दिन बाहर निकाल लिया गया। लेकिन डॉक्टरों ने उसे मृत घोषित कर दिया। यह घटना राजस्थान के कोटपुतली-बहरोड़ जिले के बड़ीयाली ढाणी गांव की है, जहां 23 दिसंबर, 2024 को अपने घर के बाहर खेलने के दौरान चेतना बोरवेल में गिर गई थी। इस खबर के बाद पूरे इलाके में हलचल मच गया।

बताया जा रहा है कि इस टनल की गहराई 150 फीट थी, जिससे चेतना को बाहर निकालने में 10 दिन लग गए। बचाव कर्मी शुरुआत से ही बोरवेल में फंसी चेतना को बचाने के लिए कड़ी मेहनत कर रहे थे, लेकिन उनकी कोशिशें कई बार नाकाम हुआ। लेकिन बचाव कर्मी अपने कार्य में जुटे रहे और आखिरकार 3 साल की चेतना को बाहर निकालने में कामयाब हुए।

चेतना को बचाया नहीं जा सका
नए साल यानी 1 जनवरी, 2025 (बुधवार) को चेतना को बोरवेल से बाहर निकाला गया। उसके बाद उसे अस्पताल में भर्ती कराया गया, जहां डॉक्टर ने उसे मृत घोषित कर दिया और उसके शव को पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया गया। कोटपुतली के बीडीएम अस्पताल में शव का पोस्टमार्टम चल रहा है।

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न्यूज एजेंसी ANI को जानकारी देते हुए प्रधान चिकित्सा अधिकारी चैतन्य रावत ने बताया, "तीन डॉक्टरों की एक टीम ने लड़की की जांच की। शव को शवगृह में रखवा दिया गया है। उसका पोस्टमार्टम चल रहा है।"

प्रशासन पर लगा था लापरवाही का आरोप
चेतना 23 दिसंबर से 150 फीट गहरे बोरवेल में फंसी हुई थी। उसके परिवार वालों ने प्रशासन पर लापरवाही का आरोप लगाया था। वहीं दूसरी ओर प्रशासन ने दावा किया था कि यह सबसे मुश्किल ऑपरेशन में से एक है।