Uniform Civil Code : उत्तराखंड में समान नागिरक संहिता (UCC) लागू करने की तैयारी कर ली गई है। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने सोमवार को इसे भाजपा का संकल्प बताते हुए जल्द कानूनी स्वरूप देने की बात कही। बताया, ड्राफ्ट तैयार कर लिया गया है। जल्द कैबिनेट के समक्ष पेश होगा। 

मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने कहा देहरादून में समाचार एजेंसी ANI से चर्चा करते बताया कि विधानसभा चुनाव-2022 में हमने देवभूमि की जनता के सामने हमने अपना संकल्प रखा। जनता ने आशीर्वाद दिया और सरकार में आने का मौका दिया है। हमने ड्राफ्ट बनाने के लिए कमेटी गिठत की थी। जिसने काम पूरा कर लिया है। 2 तारीख को ड्राफ्ट सौंप देगी। जिसका आकलन करेंगे और मंत्रिमंडल के समक्ष प्रस्तुत कर विधानसभा में यूनिफार्म सिविल कोड एक्ट बनाने की प्रकिया शुरू की जाएगी। 

कांग्रेस ने बताया फिजूलखर्ची, रावत बोले-यह केंद्र का मसला 
मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने मीडिया को बतया कि 5 फ़रवरी को विधानसभा का सत्र बुलाया गया है। माजा रहा है कि इसी सत्र में  UCC का विधेयक प्रस्तुत किया जाएगा। ऐसा हुआ तो समान नागरिक संहिता लागू करने वाला उत्तराखंड देश का पहला राज्य बन जाएगा। समान नागरिक संहिता के लिए विशेष सत्र बुलाए जाने को राज्य सरकार की फिजूलखर्ची बताया है। पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत ने कहा, समान नागरिक संहिता का मतलब ही सारे देश हो। यह काम केंद्र का है। फिर अलग से ड्राफ्ट कमेटी और विधानसभा सत्र फिजूल खर्च नहीं तो क्या है।  

क्या है UCC समान नागरिक संहिता 
यूनिफॉर्म सिविल कोड (UCC) यानी देश के हर नागरिक के लिए समान कानून की व्यवस्था। इसमें धर्म, जाति, क्षेत्र, भाषा और लिंग के हिसाब से कोई भेद नहीं होना चाहिए। अभी देश में विवाह, तलाक, गोद लेने और सम्पित्त बंटवारे जैसे कुछ कानून जाति, धर्म व स्टेट के हिसाब से अलग-अलग हैं। समान नागरिक संहिता लागू होने के बाद इनमें बदला संभव है।