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Ebrahim Raisi: एक हेलिकॉप्टर हादसे में ईरान के राष्ट्रपति इब्राहिम रईसी और उनके विदेश मंत्री समेत 9 लोगों की मौत हो गई। इब्राहिम रईसी ऐसे नेता थे, जिनके समय में 5 हजार लोगों को फांसी के फंदे पर लटका दिया गया था।

Who was Ebrahim Raisi: ईरानी राष्ट्रपति इब्राहिम रईसी की रविवार को हुए हेलिकॉप्टर हादसे में मौत हो गई। उनके साथ हेलिकॉप्टर में सवार अन्य 8 लोग भी मारे गए। इस घटना के बाद पूरी दुनिया का ध्यान इब्राहिम रईसी की ओर खिंच गया है। लोग जानना चाहते हैं कि आखिर इब्राहिम रईसी कौन थे और उनका राजनीतिक इतिहास क्या रहा है? तो जानते हैं कि आखिर रईसी को क्यों कहा जाता था ईरान का कसाई (Butcher of iran) क्या रहे हैं उनके जीवन से जुड़े विवाद। 

रईसी का राजनीतिक सफर और कट्टरवादी छवि
ईरान के 63 वर्षीय नेता इब्राहिम रईसी पॉलिटिक्स में आने से पहले ईरान की न्यायपालिका से जुड़े थे। उन्होंने 2017 में राष्ट्रपति पद का चुनाव जीता था। हालांकि, पहले चुनाव के दौरान वे उदारवादी नेता मौलवी हसन रूहानी से हार गए थे। 2017 के चुनाव में रईसी के सभी विरोधियों को चुनाव लड़ने से रोक दिया गया था, क्योंकि रईसी का विरोध करने वाले सभी नेता किसी न किसी मामले में जांच का सामना कर रहे थे। इस चुनाव में रईसी को 62% वोट मिले थे, जो ईरान के इतिहास में सबसे कम वोट प्रतिशत माना जाता है।

1988 की सामूहिक फांसी और रईसी की भूमिका
इब्राहिम रईसी का नाम 1988 में ईरान में हुई सामूहिक फांसी से भी जुड़ा है। उस समय कम से कम 5 हजार लोगों को फांसी दी गई थी। एमनेस्टी इंटरनेशनल की रिपोर्ट के मुताबिक, इराक के पूर्व राष्ट्रपति सद्दाम हुसैन से समर्थन पाकर 'मुजाहिदीन-ए-खल्क के सदस्यों ने ईरान पर हमला किया था। ईरान ने मुजाहिदीनों के हमलों को मुंहतोड़ जवाब दिया था। उस समय मुजाहिदीनों को समर्थन करने वाले हजारों लोगों को मौत के घाट उतार दिया गया था। इब्राहिम रईसी उस समय फांसी की सजा देने वाले आयोग से जुड़े थे। इसी कारण अमेरिका समेत कई देशों ने रईसी पर प्रतिबंध लगाए थे। जब राष्ट्रपति बनने पर रईसी से इस फांसी देने वाले आयोग के बारे में पूछा गया था, तो उन्होंने कुछ भी कहने से इनकार कर दिया था। 

इजरायल पर हमले का समर्थन
रईसी ने अप्रैल 2022 में इजरायल पर हमले का भी समर्थन किया था। इस दौरान इजरायल पर 300 से अधिक ड्रोन और मिसाइलें दागी गई थीं। यह हमला सीरिया के दमिश्क में ईरानी दूतावास पर हुए संदिग्ध हमले के बाद किया गया था। इसके अलावा, रईसी 2022 में हिजाब पहनने को लेकर हुए विरोध में भी शामिल थे। महीनों तक चली सुरक्षा कार्रवाई में 500 से अधिक लोग मारे गए और 22 हजार से अधिक लोगों को हिरासत में लिया गया।

रईसी की मौत के बाद ईरान में स्थिति
ईरान की सरकार इस हादसे को हार्ड लैंडिंग बता रही है, लेकिन दुनिया के राजनीतिक विश्लेषक अन्य पहलुओं पर भी विचार कर रहे हैं। रईसी की मौत के बाद अब ईरान में नए राष्ट्रपति के चुनाव की प्रक्रिया शुरू हो चुकी है। 28 जून को चुनाव की तारीख तय की गई है। हालांकि, सुप्रीम लीडर अयातुल्ला अली खामनेई की मंजूरी के बाद ही देश के नए राष्ट्रपति का चुनाव हो सकेगा। इब्राहिम रईसी की मौत से ईरान में राजनीतिक उथल-पुथल की संभावना है। उनके समय में किए गए कठोर निर्णय और विवादित कदमों के कारण उनकी छवि हमेशा कट्टरपंथी रही है। ऐसे में दुनिया भर की नजरें इस बात पर टिकी है कि ईरान की राजनीति किस दिशा में जाती है और नया राष्ट्रपति कौन बनता है।

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