Khalistan Separatist Nijjar Murder Case: कनाडा पुलिस ने खालिस्तानी आतंकवादी हरदीप सिंह निज्जर की हत्या से जुड़े मामले में शुक्रवार, 3 मई को तीन आरोपियों को गिरफ्तार किया है। कनाडाई न्यूज एजेंसी CBC की रिपोर्ट के मुताबिक, तीनों आरोपी भारतीय हैं। उन्हें एडमॉन्टन से पकड़ा गया है। पुलिस कई महीनों से इन पर नजर रख रही थी। पुलिस का मानना है कि गिरफ्तार किए गए लोग उस कथित हिट ग्रुप का हिस्सा हैं, जिन्हें पिछले साल भारत सरकार ने निज्जर की हत्या करने का काम दिया था।
सुनिए कनाडाई पुलिस ने क्या कहा?
कौन हैं गिरफ्तार लोग?
पुलिस अधीक्षक मंदीप मूकर ने बताया कि जिन तीन लोगों को गिरफ्तार किया गया है, उनमें करण बरार (22 साल), कमल प्रीत सिंह (22 साल) और करण प्रीत सिंह (28 साल) शामिल हैं। तीनों लोग अल्बर्टा के एडमॉन्टन के रहने वाले हैं। अदालत के रिकॉर्ड्स के मुताबिक, तीनों पर हत्या के साथ साथ हत्या की साजिश रचने का आरोप लगाया गया है।
पुलिस का कहना है कि तीनों आरोपियों के गैंगस्टर लॉरेंस बिश्नोई की गैंग से भी संपर्क हैं। ये 2021 में टेंपरेरी वीजा लेकर कनाडा आए थे।
कनाडा पुलिस के अनुसार, तीनों लोग पिछले तीन से पांच साल से कनाडा में रह रहे थे। असिस्टेंट कमिश्नर डेविड टेबोल ने कहा कि जांच जारी है और भारत सरकार से संबंध को भी देखा जा रहा है। हत्या में अन्य लोग भी शामिल हो सकते हैं और आने वाले समय में और भी गिरफ्तारियां हो सकती हैं।
कौन था हरदीप सिंह निज्जर?
हरदीप सिंह निज्जर एक सिख अलगाववादी नेता था। वह सार्वजनिक रूप से खालिस्तान के लिए काम करता था। उसकी मांग भारत में एक अलग आजाद सिख राष्ट्र की थी। 1970 के दशक में सिखों के एक समूह ने एक अलगाववादी विद्रोह शुरू किया था। तभी ये आंदोलन उन देशों में एक्टिव है, जहां सिखों की आबादी अधिक है।
45 साल का निज्जर जालंधर के भार सिंह पुरा का रहने वाला था। उसका जन्म 11 अक्टूबर 1977 को हुआ था। वह खालिस्तान कमांडो फोर्स का सरगना था। उसे भारत ने आतंकी घोषित किया था। NIA ने जुलाई 2020 में उसे भगोड़ा घोषित किया और उस पर 10 लाख का ईनाम रखा था।
गुरुद्वारे के बाहर हुई थी निज्जर की हत्या
18 जून 2023 को वैंकूवर के पूर्व में 30 किमी दूर सरे शहर के गुरु नानक सिख गुरुद्वारा के बाहर उसकी गोली मारकर हत्या कर दी गई थी। निज्जर के करीबियों का दावा है कि कनाडा की खुफिया एजेंसियों ने निज्जर को चेतावनी दी थी कि उसकी जान को खतरा है। निज्जर की हत्या का बाद में सीसीटीवी भी सामने आया था। पूरी वारदात 90 सेकेंड में अंजाम दी गई थी। पूरी खबर यहां पढ़ें
ट्रूडो के दावों को भारत ने किया था खारिज
निज्जर की हत्या के तीन महीने बाद प्रधान मंत्री जस्टिन ट्रूडो ने सितंबर में घोषणा की थी कि कनाडाई अधिकारी भारत से हत्या के तार जुड़ने को लेकर इस मामले को देख रहे हैं। हालांकि भारत ने ट्रूडो के दावे को बेतुका बताकर खारिज कर दिया था। साथ ही कनाडा पर खालिस्तानी आतंकियों और चरमपंथियों को पनाह देने का आरोप लगाया था। इससे दोनों देशों के बीच डिप्लोमैटिक रिश्ते बिगड़ गए थे।