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Bhaum Pradosh Vrat Puja Muhurat: ज्येष्ठ माह के कृष्ण पक्ष की त्रयोदशी तिथि मंगलवार 4 जून को पड़ रही है। इस तिथि का आरंभ 4 जून को सुबह 12 बजकर 18 मिनट पर होगा। वहीं समापन रात 10 बजकर 01 मिनट पर होगा।

Bhaum Pradosh Vrat June 2024: सनातन धर्म में प्रदोष व्रत का विशेष महत्त्व माना गया है। यह व्रत हर माह के शुक्ल पक्ष और कृष्ण पक्ष की त्रयोदशी तिथि को रखा जाता है। इसी कड़ी में ज्येष्ठ माह की तारीख 4 जून 2024 को भौम प्रदोष व्रत रखा जाएगा। यह बड़ा मंगल अथवा बुढ़वा मंगलवार भी है। प्रदोष होने के साथ इस दिन मंगलवार भी है, इसलिए इस व्रत को भौम प्रदोष व्रत कहा जाएगा। इस दिन व्रत करने से न सिर्फ भोलेनाथ बल्कि हनुमान जी की भी कृपा भक्तों पर बनी रहती है। भौम प्रदोष व्रत करने से जीवन के सभी संकट दूर होते है और जीवन में सुख-समृद्धि और खुशहाली का आगमन होता है। 

भौम प्रदोष व्रत शुभ मुहूर्त 
(Bhaum Pradosh Vrat Shubh Muhurat) 

दृक पंचांग के अनुसार, ज्येष्ठ माह के कृष्ण पक्ष की त्रयोदशी तिथि मंगलवार 4 जून को पड़ रही है। इस तिथि का आरंभ 4 जून को सुबह 12 बजकर 18 मिनट पर होगा। वहीं समापन रात 10 बजकर 01 मिनट पर होगा। इस दिन पूजा के लिए रात 7 बजकर 16 मिनट से रात 9 बजकर 18 मिनट का उत्तम मुहूर्त है। 

भौम प्रदोष व्रत के उपाय 
(Bhaum Pradosh Vrat ke Upay) 

  • कर्ज मुक्ति के लिए: भौम प्रदोष व्रत के दिन गरीबों और जरूरतमंदों को लाल रंग का वस्त्र या फलों का दान करें। 
  • शनि दोष मुक्ति के लिए: भौम प्रदोष व्रत के दिन शिवलिंग पर गंगाजल में काला तिल मिलाकर अर्पित करें। शिव चालीसा और महामृत्युंजय मंत्र का जाप करें। 
  • कष्टों से मुक्ति के लिए: भौम प्रदोष के व्रत के दिन चावल, चीनी या सफेद वस्तुओं का दान करें। साथ ही गाय के दूध से शिवलिंग पर जलाभिषेक करें। 
  • ग्रहों के अशुभ प्रभावों से मुक्ति के लिए: भौम प्रदोष व्रत के दिन शिवजी और हनुमान जी को गुड़ अर्पित करने से ग्रहों के अशुभ प्रभावों से मुक्ति मिलती है। 
  • इच्छापूर्ति के लिए: भौम प्रदोष व्रत के दिन शिवजी का नारियल के जल से जलाभिषेक करें। ऐसा करने से भोलेनाथ का आशीर्वाद प्राप्त होता है। 

डिस्क्लेमर: यहां दी गई जानकारी सामान्य मान्यताओं पर आधारित है। Hari Bhoomi इसकी पुष्टि नहीं करता है।

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