Shardiya Navratri 2024: इस वर्ष शारदीय नवरात्रि की शरुआत 3 अक्टूबर गुरुवार के दिन से हो रही है। ज्योतिष के मुताबिक इस बार मातारानी पालकी में बैठकर धरती पर पधार रही है। धार्मिक मान्यताओं की मानें तो मातारानी का गुरुवार के दिन पालकी में बैठकर आना अशुभ संकेत की ओर इशारा करता है। यह संकेत अर्थव्यवस्था में गिरावट, व्यापार में मंदी, हिंसा, देश-दुनिया में महामारी के बढ़ने का सूचक माना गया है। चलिए जानते है इस बार में विस्तार से।
वैसे तो मातारानी की प्रमुख सवारी शेर है। लेकिन नवरात्रि के दिनों में मां हर वर्ष अलग-अलग सवारी पर आती है। ज्योतिष की मानें तो, नवरात्रि का प्रारंभ रविवार या सोमवार को होता है तो मातारानी हाथी पर, गुरुवार या शुक्रवार को होता है तो पालकी, मंगलवार या शनिवार है तो घोड़े पर और अगर नवरात्रि बुधवार से शुरू हो रही है, तो मातारानी नौका में सवार होकर आती हैं। इस बार मां पालकी में आ रही है, जो सांसारिक दुनिया को विचलित करने वाला है।
नवरात्रि घटस्थापना का शुभ मुहूर्त
(Navratri Ghatsthapna Shubh Muhurat)
पंचांग के अनुसार, 3 अक्टूबर को घटस्थापना मुहूर्त सुबह 6 बजकर 15 मिनट पर प्रारंभ होगा। वहीं, इसका समापन सुबह 7 बजकर 22 मिनट तक रहेगा। इस 1 घंटा 07 मिनट के समय में नवरात्रि घटस्थापना करना शुभ माना गया है। घटस्थापना अभिजीत मुहुर्त में भी की जा सकती है, जिसका समय सुबह 11 बजकर 46 मिनट से लेकर दोपहर 12 बजकर 33 मिनट तक रहेगा। यह कुल 47 मिनट का समय है।
डिस्क्लेमर: यह जानकारी सामान्य मान्यताओं पर आधारित है। Hari Bhoomi इसकी पुष्टि नहीं करता है।