Electoral Bonds Data: राजनीतिक दलों को कॉरपोरेट्स की ओर से मिले चुनावी चंदे के डाटा में उद्योग जगत के कई बड़े नाम शामिल हैं। चुनाव आयोग (ईसी) की ओर से गुरुवार रात सार्वजनिक किए गए इलेक्टोरल बॉन्ड डेटा के मुताबिक, स्टील टाइकून लक्ष्मी मित्तल, अरबपति सुनील भारती मित्तल की एयरटेल, अनिल अग्रवाल की वेदांता, आईटीसी, महिंद्रा एंड महिंद्रा भी चुनावी बांड खरीदने वालों की सूची में हैं। आपको यह जानकर हैरानी होगी कि फ्यूचर गेमिंग एंड होटल सर्विसेज प्राइवेट लिमिटेड नाम की एक कंपनी ने राजनीतिक दलों को सबसे ज्यादा चंदा दिया है।
क्या भाजपा में शामिल हो चुके हैं सैंटियागो के बेटे?
टीएमसी सांसद महुआ मोइत्रा के फैन्स हैंडल से सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म X पर एक तस्वीर शेयर की गई। जिसमें दावा किया गया है कि सैंटियागो मार्टिन के बेटे जोस चार्ल्स मार्टिन 2015 में बीजेपी की सदस्यता ले चुके हैं। इसके साथ एक तस्वीर शेयर की गई है, जिसमें जोस चार्ल्स गले में कमल का स्कॉर्फ डाले हुए भाजपा के वरिष्ठ नेता राम माधव के साथ नजर आ रहे हैं।
Lottery King Santiago Martin’s son Jose Charles Martin joined BJP in 2015.
— Mahua Moitra Fans (@MahuaMoitraFans) March 14, 2024
Santiago Martin is the owner of Future Gaming Solutions Pvt Ltd. They bought #ElectoralBonds worth 1200 Crores. pic.twitter.com/ddbR98pYkH
बड़ा सवाल- सैंटियागो की कंपनी ने क्यों दिया चंदा?
फ्यूचर गेमिंग कंपनी के खिलाफ प्रवर्तन निदेशालय मनी लॉन्ड्रिंग के आरोपों की जांच कर रहा है। कंपनी के मालिक सैंटियागो मार्टिन (Santiago Martin) को आमतौर पर लॉटरी किंग के तौर पर जाना जाता है। उनकी दो अलग-अलग कंपनियों ने 1,368 करोड़ रुपये से अधिक के चुनावी बांड खरीदे थे। ऐसे में सवाल उठता है कि जो कंपनी अपने कर्मचारियों को इंक्रीमेंट तक देने में तो हिचकती हैं, तो उसने राजनीतिक दलों पर दिल खोलकर खूब लुटाया है।
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2019 से फ्यूचर गेमिंग के खिलाफ ईडी की जांच जारी
प्रवर्तन निदेशालय (ED) 2019 से मनी लॉन्डिंग के तहत कंपनी की जांच कर रही है। ईडी ने मई 2023 में कोयंबटूर और चेन्नई में छापेमारी की थी। सीबीआई की चार्जशीट के आधार पर ईडी जांच कर रही है। आरोप है कि सैंटियागो की कंपनी ने केरल में सिक्किम सरकार की लॉटरी बेची। आरोप है कि मार्टिन और उनकी कंपनियों ने अप्रैल 2009 से अगस्त 2010 तक विजेताओं के दावे को बढ़ा चढ़ाकर पेश किया। इसके कारण सिक्किम को 910 करोड़ का घाटा हुआ।
मजदूर से कैसे लॉटरी किंग (Lottery King) बने मार्टिन?
सैंटियागो मार्टिन (59) ने म्यांमार के यांगून में एक मजदूर के रूप में अपना करियर शुरू किया था। 1988 में वह भारत लौट आए और तमिलनाडु में लॉटरी बिजनेस शुरू किया था। वह ऑल इंडिया फेडरेशन ऑफ लॉटरी ट्रेड एंड अलाइड इंडस्ट्रीज के प्रेसिडेंट भी हैं। यह संगठन भारत में लॉटरी व्यापार और उसकी विश्वसनीयता को बढ़ाने के लिए कार्य कर रहा है। इन दिनों फ्यूचर गेमिंग कंपनी ऑनलाइन गेमिंग, कैसीनो और स्पोर्ट्स सट्टेबाजी के क्षेत्र में पैर पसार रही है। (पढ़ें पूरी खबर...)