Farmers Protest: किसान संगठनों का दिल्ली मार्च बुधवार को दूसरे दिन भी जारी है। हरियाणा और पंजाब से 13 फरवरी को हजारों की संख्या में किसान ट्रैक्टर-ट्राली लेकर दिल्ली कूच कर चुके हैं। हरियाणा-पंजाब के शंभू, खनौरी और डबवाली बॉर्डर पर प्रदर्शनकारी किसानों और सुरक्षाबलों के बीच झड़प हुई। आज भी उन पर ड्रोन से आंसू गैस के गोले भी दागे गए। भारतीय किसान यूनियन (उगराहां) ने इसकी कड़ी निंदा की है। किसानों की मांगों का समर्थन करते हुए BKU ने गुरुवार को पंजाब के 6 जिलों में रेलवे ट्रैक जाम करने का फैसला लिया है। इसका सीधा असर पंजाब, दिल्ली और हरियाणा समेत अन्य राज्यों से आने-जाने वाली रेल गाड़ियों पर पड़ेगा।
पंजाब से शुरू होगा रेल रोको आंदोलन
हरियाणा-पंजाब बॉर्डर पर किसानों पर आंसू गैस के गोले दागे जाने के बाद भारतीय किसान यूनियन (उगराहां) ने स्टेट लेवल बॉडी की मीटिंग बुलाई। इसके बाद बीकेयू के प्रमुख जोगिंदर सिंह उगराहां ने कल यानी गुरुवार को दोपहर 12 से 4 बजे तक पंजाब में रेलवे ट्रैक जामकर विरोध-प्रदर्शन का ऐलान कर दिया। इससे 6 जिलों में रेल संचालन पर असर पड़ेगा। किसान लुधियाना, अमृतसर, बठिंडा, बरनाला, फतेहगढ़ साहिब और मोगा में ट्रेनें रोकेंगे।
बीकेयू ने किसानों की मांगों का समर्थन किया
उगराहां ने एक वीडियो संदेश में कहा कि जिस तरह से किसानों पर गोलियां चलाई गईं और ड्रोन से आंसू गैस छोड़ी गई, ये निंदनीय है। बीकेयू किसानों की मांगों का समर्थन करती है। बता दें कि करीब 25 साल पहले जोगिंदर सिंह उगराहां ने भारतीय किसान यूनियन एकता संगठन की शुरुआत की थी। गरीब किसान परिवार में पैदा हुए जोगिंदर सिंह भारतीय सेना से रिटायर हैं।
किसानों के दिल्ली मार्च से मुश्किल में यात्री
पंजाब और हरियाणा से किसान संगठनों के मार्च को लेकर दिल्ली में सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम किए गए हैं। पंजाब से सटे हरियाणा के शंभू, खनौरी और डबवाली बॉर्डर पर पुलिस ने बॉर्डर पूरी तरह सील कर दिया है। इसी प्रकार हरियाणा, पंजाब उत्तर प्रदेश और राजस्थान से सटे बॉर्डर पर भी बेरिकेडिंग कर सील किए जा चुके हैं। सीमाओं पर आवाजाही पूरी तरह से बंद है। राजधानी में मंगलवार को गाजीपुर और टिहरी बॉर्डर पर 10 से 12 किलोमीटर लंबा जाम लग गया। यात्री घंटों से बीच रास्ते में फंसे हुए हैं। ऐसे में पंजाब में बीकेयू का रेल रोको आंदोलन मुसाफिरों की मुश्किलें और बढ़ा सकता है। दिल्ली, पंजाब, हरियाणा और उत्तर भारत के अन्य राज्यों से गुजरने वाली रेलगाड़ियां के परिचालन पर असर पड़ेगा।