Modi 3.0: एनडीए सरकार के गठन से पहले जेडीयू ने यूनिफॉर्म सिविल कोड (UCC) को लेकर स्थिति स्पष्ट कर दी है। जेडीयू नेता केसी त्यागी ने कहा कि UCC पर हमारा रुख अब भी पहले की तरह ही है। हम इस पर जस का तस कायम हैं। हमने पहले भी कहा था कि इस मुद्दे पर सभी स्टेक होल्डर्स को साथ लाने और उनके सुझावों और विचारों को समझने की जरूरत है।
नीतीश कुमार ने UCC पर विधि आयोग को भेजी थी चिट्ठी
केसी त्यागी ने कहा कि UCC पर नीतीश कुमार ने विधि आयोग के अध्यक्ष को चिट्ठी लिखी थी और कहा था कि हम इसके खिलाफ नहीं हैं, लेकिन इसमें व्यापक विचार-विमर्श की जरूरत है। जेडीयू नेता केसी त्यागी ने इसके साथ ही अग्निवीर योजना और वन नेशन वन इलेक्शन पर भी अपना रुख स्पष्ट किया है।कहा है कि इस योजना को लेकर चुनाव के दौरान लोगों में नारागजी देखी गई।
#WATCH | JD(U) spokesperson KC Tyagi says, "A section of voters has been upset over the Agniveer scheme. Our party wants those shortcomings which have been questioned by the public to be discussed in detail and removed...On UCC, as the national president of the party, CM had… pic.twitter.com/KBKbmJHXZL
— ANI (@ANI) June 6, 2024
अग्निवीर योजना पर दोबारा किया जाए विचार
इसके साथ ही अग्निवीर योजना को लेकर केसी त्यागी ने बड़ी बात कही। त्यागी ने कहा कि अग्निवीर योजना का काफी विरोध हुआ था। इसका असर चुनाव में भी देखने को मिला। अब इस पर नए सिरे से विचार करने की जरूरत है। जो सुरक्षाकर्मी सेना में पहले से तैनात थे, उनमें से एक बड़े तबके में अग्निवीर योजना को लेकर असंतोष था। मेरा ऐसा मानना है कि ऐसे लोगों के परिवार के सदस्यों ने भी चुनाव में विरोध किया। इन पहलुओं पर गौर करते हुए इस पर नए तरीके से विचार करने की जरूरत है।
बिहार को विशेष राज्य का दर्जा मिलना चाहिए
केसी त्यागी ने वन नेशन, वन इलेक्शन का समर्थन किया। जेडीयू नेता त्यागी ने कहा कि जहां तक एक देश एक चुनाव की बात है तो हम इसके समर्थन में हैं। हम एनडीए के मजबूत हिस्सेदार के रूप में उभर कर सामने आए हैं। इससे पहले भी हम अटल बिहारी वाजपेयी की अगुवाई वाली एनडीए सरकार में कई अहम मंत्रालयों की जिम्मेदारी संभाल चुके हैं। हमारी लंबे समय से मांग रही है कि अगर बिहार से पलायन को रोकना है तो उसे विशेष राज्य का दर्जा दिया जाना चाहिए। हालांकि, त्यागी ने कहा कि यह प्रधानमंत्री का अधिकार है कि वह किसे कौन सा मंत्रालय देना चाहते हैं। मंत्रालय को लेकर हमने ऐसी कोई मांग नहीं रखी है।