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Sandeshkhali Violence: पश्चिम बंगाल में विधानसभा से लेकर सड़क तक संदेशखली का मुद्दा गर्मा गया है। गुरुवार को बीजेपी सदन में यह मुद्दा उठाया। इसके बाद नेता प्रतिपक्ष सुवेंदु अधिकारी को सस्पेंड कर दिया गया। वहीं, ममता बनर्जी ने संदेशखली हिंसा के लिए आरएसएस को जिम्मेदार ठहराया। जानिए इस मुद्दे पर गुरुवार को पश्चिम बंगाल में क्या क्या हुआ।

पश्चिम बंगाल के संदेशखली में महिलाओं के साथ हुए यौन उत्पीड़न और हिंसा का मामला बढ़ता जा रहा है। बीजेपी ने गुरुवार को इसके खिलाफ जहां सड़काें पर उतरी नजर आई, वहीं, विधानसभा में भी यह मुद्दा उठाया। पश्चिम-बंगाल में यह लगातार दूसरा दिन रहा जब संदेशखली मुद्दे को लेकर गहमा-गहमी तेज रही। विधानसभा में संदेशखली का मुद्दा उठाए जाने के बाद सदन में नेता प्रतिपक्ष और सुवेंदु अधिकारी समेत तीन नेताओं को विधानसभा से निलंबित कर दिया गया। यह लगातार सातवां दिन है जब पश्चिम बंगाल में संदेशखली के मुद्दे को लेकर घमासान जारी है। 

निलंबन के बाद क्या बोले सुवेंदु अधिकारी
विधानसभा से निलंबित किए जाने के बाद सुवेंदु अधिकारी सदन के बाहर धरने पर बैठ गए। सुवेंदु अधिकारी ने कहा कि हमने आवाज उठाया तो 'चोर' ममता ने मुझे और मेरे चार साथियों को विधानसभा से निलंबित कर दिया। हमने इसके खिलाफ एक घंटे तक विधानसभा के बाहर प्रदर्शन किया। अब हम लोग धारा 144 का पालन करते हुए सिर्फ चार लोग संदेशखली जा रहे हैं। अगर हमें रोका गया तो देखा जाएगा। इसके बाद जो भी  हो उसका परिणाम डीजीपी राजीव कुमार को भुगतना होगा। 

सुवेंदु अधिकारी ने पुलिस पर लगाया मारपीट का आरोप
विधानसभा के बाहर धरने पर बैठे सुवेंदु अधिकारी ने पुलिस पर मारपीट करने का आरोप लगाया। विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष सुवेंदु अधिकारी ने कहा कि अमीन उल नाम के एक पुलिस अफसर ने मेरे साथ मारपीट की। मुझे अपने बूट से मारा। विधानसभा के नेता प्रतिपक्ष के साथ इस तरह की हरकत की गई। मैं इसके खिलाफ हाई कोर्ट जाऊंगा। एक डीएसपी चार बार के विधायक, पूर्व मंत्री, नेता प्रतिपक्ष, दो बार के सांसद और तीन बार पार्षद रहे व्यक्ति के साथ ऐसा कैसे कर सकता है। यह किस तरह का बर्ताव है। 

सुवेंदु अधिकारी को संदेशखली जाने से रोका गया
गुरुवार को भाजपा नेता सुवेंदु अधिकारी और तीन विधायकों के साथ संदेशखली रवाना हुए। हालांकि, सुवेंदु और अन्य भाजपा विधायकों को संदेशखली जाने के क्रम में रामपुर गांव के पास पुलिसकर्मियों ने रोक दिया। पुलिस ने सुवेंदु और उनके साथियों को एक बस में बिठाकर दूसरे स्थान पर छोड़ दिया। 

हमारा मकसद सिर्फ संदेशखली के लोगों से मिलना था
संदेशखली जाने से रोके जाने के बाद सुवेंदु अधिकारी ने कहा कि वह बस चार विधायकों के साथ संदेशखली जा रहे थे। ऐसे में धारा 144 के उल्लंघन होने का सवाल ही नहीं उठता। सुवेंदु अधिकारी ने नंदीग्राम में ममता बनर्जी को हराया था इसलिए निशेधाज्ञा का कानून सिर्फ सुवेंदु अधिकारी पर लागू होता है। मैं इसके खिलाफ अदालत जाऊंगा। हमारा मकसद सिर्फ संदेशखली के लोगों से मिलना और उनकी समस्याओं को जानना था। 

संदेशखली पर विधानसभा में क्या बोलीं ममता बनर्जी
विधानसभा में बहस के दौरान ममता बनर्जी ने संदेशखली हिंसा पर बयान दिया। विपक्षी विधायकों की ओर से जवाब मांगने के बाद भी जब ममता बनर्जी ने कुछ नहीं कहा को भाजपा के विधायक सदन से वॉकआउट कर गए। इसके बाद ममता बनर्जी सदन में खड़ी हुईं और जवाब देना शुरू किया। मुख्यमंत्री ने कहा कि मैं कभी भी किसी दोषी शख्स को बचाने की इजाजत नहीं दे सकती। मैंने अपने जीवन में कभी भी अन्याय करने की इजाजत नहीं दी। मैंने राज्य महिला आयोग के प्रतिनिधियों को तत्काल संदेशखली भेजा। अब तक 17 लोगों को गिरफ्तार किया जा चुका है। ममता ने संदेशखली में माहौल बिगाड़ने के लिए बीजेपी को जिम्मेदार ठहराया। 

पुलिस टीम घर-घर जाकर महिलाओं से बातचीत कर रही
ममता बनर्जी ने कहा कि सबसे पहले उन्होंने (भाजपा) नेताओं ने संदेशखली में प्रवेश किया और शेख शाहजहां को ईडी के जरिए टारगेट किया। इसके बाद वहां के लोगों के लिए समस्या खड़ी करनी शुरू कर दी। संदेशखली में आरएसएस का एक बेस है। वहां पर पहले दंगे भी भड़क चुके हैं। पुलिस की एक टीम संदेशखली में घर-घर जाकर महिलाओं से बातचीत कर रही है और उनकी समस्याएं सुन रही है। जो भी महिलाओं के साथ हिंसा या मारपीट करने वाले लोगों को बख्शा नहीं जाएगी। 

सिलीगुडी में पुलिस और बीजेपी कार्यकर्ताओं के बीच झड़प
गुरुवार को बीजेपी कार्यकर्ताओं ने सिलीगुडी में विरोध प्रदर्शन किया। बीजेपी कार्यकर्ताओं ने ममता बनर्जी सरकार के खिलाफ नारेबाजी की। इस दौरान बीजेपी कार्यकर्ताओं और पुलिस के बीच झड़प हो गई। पुलिस ने हल्के बल का भी प्रयोग किया, जिसमें कुछ बीजेपी कार्यकर्ताओं को चोटें आने की भी बात कही जा रही है। इसके साथ ही पूर्ब बर्धमान जिले में भी बीजेपी कार्यकर्ताओं ने संदेशखली घटना को लेकर प्रदर्शन किया। यहां बीजेपी कार्यकर्ताओं ने बीच सड़क पर टायर जलाकर रास्ता जाम कर दिया। 

अनुसूचित जाति आयोग पहुंचा संदेशखली 
राष्ट्रीय अनुसूचित जाति आयोग की टीम के सदस्य गुरुवार को संदेशखली पहुंचे। संदेशखली जाने से पहले  आयोग के अध्यक्ष  अरुण हलदर ने कहा कि हमें संदेशखली को लेकर कुछ जानकारियां मिली हैं। वहां के बहुत सारे लोग कुछ कहना चाहते हैं, लेकिन उन्हें मौका नहीं दिया जा रहा है। आयोग के सदस्यों के साथ मैं यहां पहुंचा हूं। हम संदेशखली के लोगों की बातें सुनेंगे और उस आधार पर सरकार को रिपोर्ट सौंपेंगे। कल सुबह 11 बजे राष्ट्रपति को रिपोर्ट सौंप दी जाएगी। 

 

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