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white paper vs Black Paper: सरकार गुरुवार को सदन में आर्थिक स्थिति पर व्हाहट पेपर लाएगी। इससे पहले कांग्रेस ने एक ब्लैक पेपर पेश किया। इसमें सरकार के कामकाज पर सवाल उठाए। इस पर प्रधानमंत्री मोदी ने राज्यसभा में कहा कि यह ब्लैक पेपर काले टीके की तरह है। देश के विकास को बुरी नजर से बचाएगा।

white paper vs Black Paper:  केंद्र सरकार ने गुरुवार को संसद में देश की आर्थिक स्थिति पर व्हाइट पेपर पेश करने का ऐलान किया है। यह व्हाइट पेपर पेश होता इससे पहले ही कांग्रेस ने अपना ब्लैक पेपर पेश किया। एक प्रेस कॉन्फ्रेंस करके कांग्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने इस ब्लैक पेपर को पेश किया। इसमें महंगाई, सामाजिक न्याय, बेरोजगारी और किसानों से जुड़ मुद्दा उठाया। राज्यसभा में रिटायर हो रहे सांसदों के लिए अपने विदाई भाषण में इस ब्लैक पेपर को लेकर कांग्रेस पर निशाना साधा।

सदन को काले कपड़ों में फैशन शो देखने का भी मौका मिला
प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि काले टीके से प्रगति को नजर नहीं लगती है। आज काला टीका लगाने की अच्छी कोशिश की गई है। कई बार ऐसे काम होते हैं जो लंबे समय तक उपयोगी साबित होते हैं। हमारे यहां रिवाज है कि जब बच्चा कुछ अच्छा काम कर लेने पर काला टीका लगाया जाता है।  सरकार ने बीते 10 साल में जो काम किए हैं, उसे किसी की नजर ना लगे इसलिए मल्लिकार्जुन खड़गे काला टीका लगाकर आए हैं। राज्सभा में कुछ सांसदों के काले कपड़े पहनकर आने पर भी प्रधानमंत्री ने विपक्षी सांसदों को निशाने पर लिया। पीएम मोदी ने कहा कि आज सदन को काले कपड़ों में फैशन शो देखने का भी मौका मिला है। 

रविशंकर प्रसाद ने कांग्रेस के घोटाले गिनाए
भाजपा नेता रविशंकर प्रसाद ने कहा कि ऐसा सुनने में आया है कि अपने काले कारनामों को छुपाने के लिए कांग्रेस के अध्यक्ष मल्लिकाजुर्न खड़गे ने कोई ब्लैक पेपर लाने की बात कही है। भ्रष्टाचार और ब्लैक डीड्स करने वालों की परेशानी हम समझते हैं। कांग्रेस के कार्यकाल में कोयला घोटाला, आदर्श घोटाला, सबमरीन घोटाले सब बंद हो गया है। उस समय देश में 10 से 15 लाख रुपए का घोटाला हुआ था। मौजूदा समय में प्रधानमंत्री मोदी के नेतृत्व में देश आगे बढ़ रहा है। लाभार्थियों के बैंक खाते में सीधे पैसे पहुंच रहे हैं। बिचौलिए खत्म हो गए हैं। 

हम बेरोजगारी और महंगाई का मुद्दा उठा रहे: खड़गे
मल्लिकार्जुन खड़गे ने ब्लैक पेपर जॉइन करने के बाद कहा कि हम बेरोजगारी और महंगाई का मुद्दा उठा रहे हैं। इस मुद्दे को कभी भी बीजेपी नहीं उठाती। बीजेपी हमेशा 10 साल की तुलना करने की सोचते हैं। परसो प्रधानमंत्री ने पब्लिक सेक्टर की बात की। हालांकि, प्रधानमंत्री नेहरू के कार्यकाल के दौरान खोली गई पब्लिक सेक्टर कंपनियों के बारे में नहीं बताया। देहात में भी रोजगार कम हो रहा है क्योंकि नरेगा का पैसो रिलीज नहीं किया जा रहा है। कर्नाटक, केरल और तेलंगाना जैसे गैर भाजपा शासित राज्यों को नजरअंदाज किया जा रहा है। 

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