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सोमवार का दिन भगवान शिव को समर्पित है। ऐसे में सोमवार के दिन शिव स्तुति का पाठ करने से भगवान शिव भक्तों पर हमेशा प्रसन्न रहते हैं।

Somwar Ke Upay: सोमवार का दिन देवों के देव महादेव भगवान शिव और माता पार्वती को समर्पित है। इस दिन विधि-विधान से महादेव और जगत जननी मां पार्वती की पूजा की जाती है। मान्यता है कि जो लोग इस दिन सच्चे मन में माता पार्वती के साथ महादेव की पूजा करते हैं उनके मन की सारी इच्छाएं पूरी हो जाती हैं। साथ ही भोलेनाथ और माता जगत जननी पार्वती की कृपा हमेशा बनी रहती हैं।

धार्मिक मान्यताओं के अनुसार, जो जातक सोमवार के दिन सच्चे मन से व्रत रखते हैं उन्हें अच्छे जीवनसाथी की प्राप्ति होती है। ज्योतिषियों में सोमवार के दिन कुछ विशेष चीजों का दान करने के बारे में भी बताया गया है। यदि आपकी शादी में किसी भी प्रकार की दिक्कत आ रही है तो सोमवार के दिन शिव स्तुति का पाठ करने के बारे में भी बताया गया है।

यदि आप शिव स्तुति का पाठ करते हैं तो सुख-सौभाग्य और विवाह संबंधित सारी परेशानियां दूर हो जाती हैं। तो आएइ शिव स्तुति, शिव मंत्र और शिव स्तुति पाठ करने के लाभ के बारे में जानते हैं।

।।शिव स्तुति मंत्र।।

पशूनां पतिं पापनाशं परेशं गजेन्द्रस्य कृत्तिं वसानं वरेण्यम।

जटाजूटमध्ये स्फुरद्गाङ्गवारिं महादेवमेकं स्मरामि स्मरारिम।।

महेशं सुरेशं सुरारातिनाशं विभुं विश्वनाथं विभूत्यङ्गभूषम्।

विरूपाक्षमिन्द्वर्कवह्नित्रिनेत्रं सदानन्दमीडे प्रभुं पञ्चवक्त्रम्।।

गिरीशं गणेशं गले नीलवर्णं गवेन्द्राधिरूढं गुणातीतरूपम्।

भवं भास्वरं भस्मना भूषिताङ्गं भवानीकलत्रं भजे पञ्चवक्त्रम्।।

शिवाकान्त शंभो शशाङ्कार्धमौले महेशान शूलिञ्जटाजूटधारिन्।

त्वमेको जगद्व्यापको विश्वरूप: प्रसीद प्रसीद प्रभो पूर्णरूप।।

परात्मानमेकं जगद्बीजमाद्यं निरीहं निराकारमोंकारवेद्यम्।

यतो जायते पाल्यते येन विश्वं तमीशं भजे लीयते यत्र विश्वम्।।

न भूमिर्नं चापो न वह्निर्न वायुर्न चाकाशमास्ते न तन्द्रा न निद्रा।

न गृष्मो न शीतं न देशो न वेषो न यस्यास्ति मूर्तिस्त्रिमूर्तिं तमीड।।

अजं शाश्वतं कारणं कारणानां शिवं केवलं भासकं भासकानाम्।

तुरीयं तम:पारमाद्यन्तहीनं प्रपद्ये परं पावनं द्वैतहीनम।।

नमस्ते नमस्ते विभो विश्वमूर्ते नमस्ते नमस्ते चिदानन्दमूर्ते।

नमस्ते नमस्ते तपोयोगगम्य नमस्ते नमस्ते श्रुतिज्ञानगम्।।

प्रभो शूलपाणे विभो विश्वनाथ महादेव शंभो महेश त्रिनेत्।

शिवाकान्त शान्त स्मरारे पुरारे त्वदन्यो वरेण्यो न मान्यो न गण्य:।।

शंभो महेश करुणामय शूलपाणे गौरीपते पशुपते पशुपाशनाशिन्।

काशीपते करुणया जगदेतदेक-स्त्वंहंसि पासि विदधासि महेश्वरोऽसि।।

त्वत्तो जगद्भवति देव भव स्मरारे त्वय्येव तिष्ठति जगन्मृड विश्वनाथ।

त्वय्येव गच्छति लयं जगदेतदीश लिङ्गात्मके हर चराचरविश्वरूपिन।।

शिव स्तुति पाठ का लाभ

धार्मिक मान्यताओं के अनुसार, जो लोग शिव स्तुति पाठ का जाप करते हैं उनका स्वास्थ्य बेहतर होता है। उन्हें सभी प्रकार की बीमारियों से मुक्ति मिल जाती है। ग्रह शांत रहते हैं। शादी-विवाह में आ रही किसी भी प्रकार की अड़चने खत्म हो जाती हैं। भौतिक-सुख सुविधाओं में विस्तार होता है। 

भोलेनाथ के इन मंत्रों का करें जाप

ओम नम: शिवाय
ओम महेश्वराय नमः
ओम पशुपतये नमः
ऊँ शं शंकराय भवोद्भवाय शं ऊँ नमः
ऊँ शं विश्वरूपाय अनादि अनामय शं ऊँ

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डिस्क्लेमर: यह जानकारी सामान्य मान्यताओं पर आधारित है। Hari Bhoomi इसकी पुष्टि नहीं करता है।

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