नई दिल्ली। आईपीएल 2025 के लिए बीसीसीआई हेडक्वार्टर में 10 टीमों के फ्रेंचाइजी ओनर्स और बोर्ड के बीच मीटिंग हुई। इस मीटिंग में मेगा ऑक्शन से पहले खिलाड़ियों की टीम में बरकरार रखने के नियमों और संख्या पर चर्चा होनी थी। लेकिन बातचीत में मेगा ऑक्शन पर लंबी बहस हुई। बीसीसीआई अगले हफ्ते तक खिलाडियों को बरकरार रखने के नियम और बाकी मुद्दों पर फैसला करेगी।
मीटिंग में दिल्ली कैपिटल्स के को-ओनर पार्थ जिंदल ने इम्पैक्ट प्लेयर नियम को खत्म करने की मांग की। वहीं, सनराइजर्स हैदराबाद (एसआरएच) की मालकिन काव्या मारन ने सिफारिश की है कि कम से कम सात खिलाड़ियों को रिटेन किया जाए और विदेशी खिलाड़ियों की संख्या पर कोई प्रतिबंध न हो। मेगा ऑक्शन को लेकर भी फ्रेंचाइजी ओनर्स बंटे नजर आए। हर 5 साल में मेगा ऑक्शन को लेकर सब एकमत नहीं हैं।
मेगा ऑक्शन और RTM को लेकर मीटिंग में बात हुई
बीसीसीआई और फ्रेंचाइजी ओनर्स की मीटिंग में इस बात पर भी चर्चा हुई कि क्या नीलामी में राइट-टू-मैच (RTM) कार्ड विकल्प को वापस लाया जाना चाहिए, और क्या युवा प्रतिभाओं की खोज और विकास करने वाली टीमों को प्रोत्साहित करने के लिए अनकैप्ड खिलाड़ियों के लिए एक स्पेशल कैटेगरी बनाई जानी चाहिए। मेगा नीलामी कितने सालों में कराई जाए और ऑक्शन पर्स पर भी चर्चा हुई।
इम्पैक्ट प्लेयर हटाना चाहती है दिल्ली कैपिटल्स
इम्पैक्ट प्लेयर नियम का मूल उद्देश्य अधिक भारतीय खिलाड़ियों, विशेष रूप से अनकैप्ड खिलाड़ियों को प्रदर्शन का मौका देना था। हालांकि, प्रमुख खिलाड़ियों और अलग-अलग कोच ने तर्क दिया कि यह समान खेल का मैदान नहीं बना रहा। भारतीय टीम के कप्तान रोहित शर्मा ने हाल ही में कहा था कि वो इम्पैक्ट प्लेयर नियम के पक्ष में नहीं हैं क्योंकि इससे ऑलराउंडर का विकास प्रभावित होगा।
दिल्ली कैपिटल्स के को-ओनर जिंदल भी रोहित के दृष्टिकोण से सहमत थे। बैठक के बाद जिंदल ने कहा, "कुछ लोग इसे इसलिए चाहते हैं क्योंकि यह युवा खिलाड़ियों को आईपीएल में खेलने का मौका देता है। कुछ लोग इसे नहीं चाहते हैं क्योंकि यह ऑलराउंडरों के विकास के मामले में भारतीय क्रिकेट के लिए नुकसान पहुंचाने वाला है। इसलिए यह एक मिश्रित बैग है। मैं दूसरे खेमे में हूं। मैं इसे नहीं चाहता। मैं 11 बनाम 11 के खेल को पसंद करता हूं, और मुझे लगता है कि ऑलराउंडर बहुत महत्वपूर्ण हैं। और आपके पास अलग-अलग खिलाड़ी हैं जो इस नियम के कारण आईपीएल में गेंदबाजी नहीं करते हैं या आईपीएल में बल्लेबाजी नहीं करते हैं, जो भारतीय क्रिकेट के लिए अच्छा नहीं है।"
केकेआर मेगा ऑक्शन के खिलाफ
बीसीसीआई और फ्रेंचाइजी के बीच हुई मीटिंग में कई टीम के ओनर्स मेगा ऑक्शन के खिलाफ थे। इनमें कोलकाता नाइट राइडर्स के शाहरुख खान और सनराइजर्स हैदराबाद की काव्या मारन थीं। दिलचस्प बात ये है कि दोनों ही टीमों ने आईपीएल 2024 का फाइनल खेला था और ये अपनी टीम को बरकरार रखना चाहते हैं।
मीटिंग में मौजूद बीसीसीआई के एक अधिकारी के मुताबिक, शाहरुख खान ने मेगा ऑक्शन का खुलकर विरोध किया। इस दौरान उनकी पंजाब किंग्स के को-ओनर नेस वाडिया से भी खिलाड़ियों की संख्या को लेकर बहस हो गई। मीटिंग के बाद जब नेस वाडिया से इसे लेकर सवाल पूछा गया तो उन्होंने साफ कर दिया कि वो शाहरुख खान को लंबे वक्त से जानते हैं और उनके साथ कोई बहस नहीं हुई। उन्होंने कहा कि हर मालिक ने अपनी टीम के हित में बात रखी और अब बीसीसीआई को तय करना है।