रायपुर। छत्तीसगढ़ के सीएम विष्णु देव साय ने झारखंड के पूर्व सीएम हेमंत सोरेन ने भाजपा शासित राज्यों के आदिवासी मुख्यमंत्रियों को रबर स्टाम्प बताने वाले बयान पर पलटवार किया है। सीएम श्री साय ने सोरेन परिवार को जनता की गाढ़ी कमाई लूटने वाला परिवार कहा है।
सीएम श्री साय ने अपने सोशल मीडिया हैंडल X पर लिखा है कि, देश भर में जिस तरह से भाजपा, सक्षम आदिवासी नेतृत्व दे रही है। ऐसा इससे पहले कभी नहीं था। ऐसे में झारखंड के पूर्व मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन का आदिवासी मुख्यमंत्रियों के बारे में अनर्गल प्रलाप निंदनीय है। यह देश भर के आदिवासी और पिछड़े समाज का अपमान है। जीवन भर अपने कृत्यों से सोरेन परिवार जिस तरह आदिवासी समाज को बदनाम करता रहा है, वह भी निंदनीय है।
देश भर में जिस तरह से भाजपा, सक्षम आदिवासी नेतृत्व दे रही है, ऐसा इससे पहले कभी नहीं था। ऐसे में झारखंड के पूर्व मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन का आदिवासी मुख्यमंत्रियों के बारे में अनर्गल प्रलाप निंदनीय है। यह देश भर के आदिवासी और पिछड़े समाज का अपमान है। जीवन भर अपने कृत्यों से सोरेन…
— Vishnu Deo Sai (@vishnudsai) June 30, 2024
विधानसभा चुनाव में जनता सिखाएगी सबक
उन्होंने आगे लिखा कि, जनता की गाढ़ी कमाई लूटकर अपनी तिजोरी भरने वाले सोरेन और उनकी पार्टी को आगामी विधानसभा चुनाव में झारखंड की जनता सबक सिखाने का मन बना चुकी है। यही कारण है कि अब वे समाज के प्रति ही अनाप-शनाप बयानबाजी पर उतारू हो गये हैं। सोरेन परिवार के रिश्वत कांड को भी अभी तक जनता भूली नहीं है। हेमंत सोरेन को यह समझ लेना चाहिए कि महज जमानत मिल जाना अपराध मुक्ति का सर्टिफिकेट नहीं होता है। अंतिम फैसला अभी बाकी है।
इंडी गठबंधन घबराया हुआ है
सीएम श्री साय ने लिखा कि, आदिवासियों, अनुसूचित जातियों, अन्य पिछड़ा वर्ग, महिलाओं और युवाओं के बीच भाजपा की बढ़ती लोकप्रियता से इंडी गठबंधन घबराया हुआ है। इसी कारण ऐसी बयानबाजी हो रही है। समाज को अपमानित करने वाले किसी भी बयान को जनता सहन नहीं करेगी। इसका माकूल जवाब देगी।
सोरेन पर जमीन घोटाले का है आरोप
आपको बता दें कि, झारखंड के पूर्व मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन पर जमीन घोटाले का आरोप है। उन्हें हाईकोर्ट से पांच महीने बाद जमानत मिली है। जेल से निकलने के बाद पत्रकारों से चर्चा के दौरान उसने कहा था कि विधानसभा चुनाव के बाद झारखंड से बीजेपी का सफाया हो जाएगा। जिस पर मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय ने पलटवार किया है।