जशपुर। छत्तीसगढ़ के जशपुर जिले में किडनी का पेशेंट महमूद खान रो- रो कर अपनी दुख भरी कहानी बता रहे हैं। महमूद किडनी से पेशेंट हैं और उन्हें हफ्ते में 3 दिन डायलिसिस कराना होता है। लेकिन धर्मजयगढ़ जनपद में डायलिसिस की सुविधा नहीं है। ऐसे में वो अपना ट्रांसफर जशपुर चाहते हैं। इसको लेकर उन्होंने प्रधानमंत्री, मुख्यमंत्री को पत्र लिखा है। कलेक्टर के पास भी गुहार लगाई है, लेकिन उन्हें कोई राहत मिली है।
जशपुर जिले में किडनी का पेशेंट महमूद खान रो- रो कर अपनी दुख भरी कहानी बता रहे हैं। महमूद किडनी से पेशेंट हैं और उन्हें हफ्ते में 3 दिन डायलिसिस कराना होता है। ऐसे में वो अपना ट्रांसफर धर्मजयगढ़ से जयपुर चाहते हैं। pic.twitter.com/Bs5s2ITxTY
— Haribhoomi (@Haribhoomi95271) January 5, 2025
उन्होंने आगे कहा कि, सन 1997 में वाहन चालक के पद वे नौकरी कर रहे थे। लेकिन 4 वर्षों में ही कलेक्टर ने इन्हें नौकरी से यह कह कर निकल दिया कि, ऊपर से आदेश है। इसलिए आप लोगों को हटाया जा रहा है। फिर वो अपना जीवन यापन करने जशपुर आए, यहां रह कर उन्होंने प्राइवेट काम किया। कुछ समय बाद किसी ने महमूद से कहा कि आप न्यायालय का रुख कर अपनी नौकरी वापस पा सकते हो। तब उन्होंने हाई कोर्ट का रुख किया और 20 सालों तक केस चला। ऐसे में 20 साल बाद उन्हें नौकरी वापस मिली। 20 साल बाद उन्हें जब नौकरी मिली तो उसके साथ दूसरी परेशान सामने आ पड़ी।
हफ्ते में 3 दिन कराना होता है डायलिसिस
श्री महमूद ने आगे बताया कि, वे किडनी के पेशेंट है और उन्हें हफ्ते में 3 दिन डायलिसिस होती है। वर्तमान में उनकी पोस्टिंग धर्मजयगढ़ जनपद में हुई है।लेकिन वहां डायलीसिस की सुविधा नहीं है। वे जशपुर में रह कर डायलिसिस का लाभ ले रहे है। ऐसे में वे अपना स्थानांतरण जशपुर चाहते हैं। इस संबंध में उन्होंने प्रधानमंत्री से लेकर मुख्यमंत्री तक को पत्र लिखा है।
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पीएम- सीएम को लिखा पत्र, कलेक्टर से भी लगाई गुहार
वहीं रायगढ़ कलेक्टर को कई बार लिखित और मौखिक निवेदन कर चुके हैं। लेकिन किसी ने उनकी एक भी नहीं सुनी। महमूद बहुत ही गरीब परिवार से हैं और ऐसे में उनका जीवन यापन करना मुश्किल हो गया है। इसलिए वो शासन से गुहार लगा रहा है कि उसकी पोस्टिंग जशपुर जिले में कहीं कर दिया जाए।