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पत्रकार मुकेश चंद्राकर की निर्मम हत्या को लेकर राजिम मुख्यालय में पत्रकारों रोष जताया। जहां उन्होंने पंडित सुंदरलाल शर्मा चौक में मोमबत्ती जलाकर उन्हें श्रद्धांजलि दी। 

श्यामकिशोर शर्मा- राजिम। छत्तीसगढ़ के बीजापुर के युवा पत्रकार मुकेश चंद्राकर की निर्मम हत्या को लेकर राजिम  मुख्यालय में पत्रकारों रोष जताया। जहां उन्होंने पंडित सुंदरलाल शर्मा चौक में मोमबत्ती जलाकर उन्हें श्रद्धांजलि दी। पत्रकारों की मांग है कि, इस हत्याकांड में शामिल सभी आरोपियो को फांसी की सजा दी जाए। इसके साथ ही आरोपियों की पूरी संपत्ति राजसात किया जाए। वहीं स्व. मुकेश चंद्राकर के परिवार के किसी एक सदस्य को सरकारी नौकरी और 1 करोड़ रुपये का मुआवजा दिया जाए। 

इस हत्याकांड को लेकर रविवार की शाम शहर के रेस्ट हाऊस में सारे रिपोर्टर इकट्ठा हुए और यहां से पैदल मार्च करते हुए पंडित सुंदरलाल शर्मा चौक पहुंचे। चौक में स्व मुकेश चंद्राकर के तस्वीर के समक्ष कैंडल जलाया और मुकेश चंद्राकर अमर रहे, हत्यारो को फांसी दो कहते हुए नारे लगाए गए। यहां पंडित सुंदरलाल शर्मा चौक में पत्रकारों ने दो मिनट का मौन रखकर मुकेश को श्रद्धांजलि अर्पित की और आक्रोश जताया। वरिष्ठ पत्रकार श्यामकिशोर शर्मा ने मुकेश के हत्यारों को कड़ी से कड़ी सजा देने मांग की है। साथ ही पीड़ित परिवार को 1 करोड़ रुपए मुआवजा, परिवार के एक सदस्य को सरकारी नौकरी देने छग सरकार से मांग की। 

पत्रकारों की सुरक्षा सुनिश्चित करने की मांग 

वरिष्ठ पत्रकार श्यामकिशोर शर्मा ने कहा कि बस्तर समेत पूरे छत्तीसगढ़ में पत्रकारों की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए आवश्यक दिशा-निर्देश जारी हो। आए दिन पत्रकारों को झूठे मामले में फंसाना, मारपीट करना। ऐसे उत्पीड़न से पत्रकारों को गुजरना पड़ता है। पत्रकार शेख इमरान ने कहा कि, इस घटना ने एक बार फिर यह साबित किया है कि लोकतंत्र का चौथा स्तंभ, पत्रकारिता, आज गंभीर चुनौतियों का सामना कर रहा है। ऐसे में पत्रकारों की सुरक्षा और सम्मान सुनिश्चित करना प्रशासन की प्राथमिकता होनी चाहिए।

पत्रकार समाज के सवालों को देतें है आवाज 

राजिम भक्तिन माता समिति के अध्यक्ष लाला साहू ने कहा कि मुकेश चंद्राकर की हत्या सिर्फ एक व्यक्ति का मामला नहीं है। यह पूरे समाज के लिए चेतावनी है। पत्रकार सिर्फ खबरें नहीं लिखते, वे समाज के सवालों को आवाज देते हैं। उनकी सुरक्षा सुनिश्चित करना न केवल सरकार का दायित्व है। बल्कि समाज का भी नैतिक कर्तव्य है। 

ये पत्रकार रहे उपस्थित 

इस दौरान प्रमुख रूप से वरिष्ठ पत्रकार रमेश पहाड़िया, श्यामकिशोर शर्मा, रमेश चौधरी, विनोद जैन, नीरज शर्मा, मनीष जैन, कामेश्वर गोस्वामी, आलोक पहाड़िया,सोमा शर्मा,प्रवीण साहू,रमेश टंडन, प्रवीण देवांगन, बिशेषर हिरवानी,शेख ईमरान, जितेंद्र सिन्हा,तुकाराम कंसारी, नागेंद्र निषाद,संतोष सोनकर, श्रीकांत साहू,युवराज साहू, उरेंद्र साहू, भोला साहू, देवप्रसाद बघेल, तामेश्वर साहू, थानेश्वर बंजारे, नेहरू साहू,मनीष दुबे, रमेश सोनसायटी उपस्थित थे।

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