यशवंत गंजीर कुरुद। संस्कृत सुभाषित वाक्यों में शुभस्य शीघ्रम की बात कही जाती है, अर्थात शुभ कार्य में शीघ्रता की जानी चाहिए। एक ऐसे ही शुभ कार्य के लिए शीघ्रता से पहल करते हुए छत्तीसगढ़ शिक्षक फेडरेशन के जिलाध्यक्ष और शासकीय हाईस्कूल जोरातराई (सिलौटी) के प्राचार्य दयालु राम साहू ने गांव के ही शासकीय माध्यमिक शाला के बच्चों के लिए न्योता भोज का आयोजन किया। मध्यान्ह भोजन के अतिरिक्त अन्य व्यंजन परोसा और खुद बच्चों के साथ भोजन किया।
दरअसल प्रधानमंत्री पोषण शक्ति योजना के तहत राज्य सरकार की पहल पर स्कूलों में खास मौकों पर दानदाता पौष्टिक आहार का दान कर सकते हैं। प्रदेश में यह आदेश मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय ने शुक्रवार को ही जारी किया है। जिसको अमल में लाते हुए बच्चों के खान-पान में पोषण आहार की मात्रा बढ़ाने यह पहला अभिनव पहल धमतरी जिले के कुरुद विकासखंड के शास. प्राथमिक एवं माध्यमिक शाला जोरातराई (सि) के बच्चों को संयुक्त रूप से आमंत्रित कर किया गया। जहां बच्चों को दैनिक रूप से परोसे जाने वाले मध्यान्ह भोजन की दाल-भात, सब्जी के अलावा बड़ा-पूड़ी, खीर, मिठाई, पापड़ आदि व्यंजन परोसा गया। यह भोज शिक्षक दयालु राम साहू ने अपने पुत्र के विवाह की खुशी में कराया। इस अवसर पर संकुल प्रभारी सिलौटी श्रीमती पद्मा बघेल, सरपंच सविता गंजीर, प्रधान पाठक द्वय सुदामा राम साहू, चंद्रशेखर साहू, वरिष्ठ नागरिक चोवाराम गंजीर, भानू राम साहू, यशवंत गंजीर के अलावा स्कूली छात्र-छात्राएं और शिक्षकगण उपस्थित थे।
खीर-पूड़ी व मिठाई खाकर बच्चे हुए खुश
इस न्योता भोज में स्कूली बच्चों के अलावा गांव के गणमान्य नागरिक, आसपास स्कूल के शिक्षकगण आदि भी आमंत्रित किये गये थे। वे सब भी बच्चों के साथ बैठकर न्योता भोज किये। सभी बच्चों को को दयालु राम ने उनके पसंद के व्यंजन पूछे और परोसते हुए लड्डू, खीर-पूड़ी, पापड़, बड़ा दिए। भोजन करते समय बच्चों के चेहरे पर खुशियां झलक रही थी और दोबारा-तिबारा मांगकर अपने पसंद के व्यंजन खा रहे थे। जिसे देख आम नागरिकों ने कहा कि सामुदायिक भागीदारी को जोर देने और पोषक तत्वों की मात्रा में वद्धि करने यह व्यवस्था सराहनीय है।
क्या है न्योता भोज और कैसे दे सकते हैं योगदान
जो व्यक्ति छात्रों को भोजन कराना चाहते हैं, उन्हें इसकी जानकारी पूर्व में ही देनी होगी। उस दिन विद्यार्थियों को मध्यान्ह भोजन के स्थान पर संबंधित व्यक्ति अथवा संस्था द्वारा न्योता भोज कराया जाएगा, अर्थात जिस दिन स्कूलों में न्योता भोज परोसा जाएगा उस दिन मध्यान्ह भोजन का वितरण नहीं होगा। व्यक्ति या संस्था विभिन्न त्यौहारों या अवसरों जैसे वर्षगांठ, जन्मदिन, विवाह और राष्ट्रीय पर्व आदि पर छात्रों को भोजन करा सकेंगे।
पौष्टिक भोजन और मौसमी फलों का करें दान
दान-दाताओं से मिलने वाली खाने-पीने की चीजें उस क्षेत्र की फूड हैबिट के अनुसार ही होनी चाहिए। पूरे भोजन में नियमित रूप से दिए जाने वाले भोजन की तरह बच्चों को दाल, सब्जी और चावल सभी दिया जाना है। फल, दूध, मिठाई, बिस्किट्स, हलवा, चिक्की, अंकुरित जैसी चीजें बच्चों को पूरक पोषण सामग्री के रूप में दी जा सकती हैं। पौष्टिक और मौसमी फलों का भी दान किया जा सकेगा।
मौका भी देंगे और सम्मानित भी करेंगे
इस अवसर पर सरपंच सविता गंजीर ने ग्रामीणों से आग्रह किया कि वे अपने जीवन के महत्वपूर्ण दिन क्षण इत्यादि को स्कूल के बच्चों के साथ मनाएं। उन्हें इसी प्रकार से न्योता भोज दें। उन्हें इस प्रकार का भोजन करा सकते है या उनके भोजन में पौष्टिक भोज्य पदार्थ शामिल कर सकते है। यदि कोई इच्छुक हो तो हमसे संपर्क करें हम हर 15 दिनों या महीने में उनका पंजीयन कर उन्हें बच्चों के साथ अपनी खुशी बांटने का मौका देंगे और हम उन्हें सम्मानित भी करेंगे।